अयोध्या विवाद: 24वें दिन की सुनवाई पर बोले वकील राजीव धवन 'यह याचिका जानबूझ कर लगाई गई'
मुस्लिम पक्षकारों ने सुप्रीम कोर्ट से कहा है कि ‘जन्मस्थान’ न्यायिक व्यक्ति नहीं हो सकता। अयोध्या विवाद की सुनवाई के 24वें दिन सुन्नी वक्फ बोर्ड के वकील राजीव धवन ने कहा, यह याचिका जानबूझ कर लगाई गई जिसस इस पर न तो लॉ ऑफ लिमिटेशन लागू हो और न जबरन कब्जे का सिद्धांत लागू हो। ऐसे में जमीन से हक नहीं छीना जा सकता। धवन ने चीफ जस्टिस रंजन गोगोई की अध्यक्षता वाली बेंच के समक्ष कहा, जन्मस्थान द्वारा दाखिल याचिका का मतलब है, कि बाकी पक्षकार मामले से बाहर हो जाएं और रामलला विराजमान को अधिकार मिल जाए। अगर राम जन्मभूमि क्षेत्र को देवता बना दिया जाएगा तो पूरा इलाका अपने आप अधिकार संपन्न हो जाएगा। ऐसे में कोई मालिकाना हक का दावा नहीं कर सकता। सुनवाई मंगलवार को भी जारी रहेगी।