चिहड़ गलोटी में कांगड़ा केंद्रीय सहकारी बैंक, खुंडियाँ ने नाबार्ड द्वारा प्रायोजित वित्तीय साक्षारता कैंप का किया संचालान
चिहर गलोटी: 28 अक्तूबर 2024 से 03 नवंबर 2024 तक पूरे देश में केंद्रीय सतर्कता आयोग के दिशा-निर्देशों पर आधारित सतर्कता जागरूकता सप्ताह 2024 मनाया जा रहा है। इसी क्रम में खुंडियाँ के नज़दीक, चिहड़ गलोटी में कांगड़ा केंद्रीय सहकारी बैंक, खुंडियाँ के शाखा प्रबंधक रविंद्र राणा ने नाबार्ड द्वारा प्रायोजित वित्तीय साक्षारता कैंप का भी संचालान किया। उन्होने प्रधानमंत्री जन धन योजना, प्रधानमंत्री सुरक्षा बीमा योजना, प्रधानमंत्री जीवन ज्योति बीमा योजना और अटल पेंशन योजना जैसी योजनाओं के बारे में जानकारी दी। उन्होंने इन योजनाओं के तहत मिलने वाले लाभों और आवेदन प्रक्रिया पर प्रकाश डाला, ताकि ग्रामीण समुदाय को वित्तीय रूप से सुरक्षित और सशक्त बनाया जा सके। इस आयोजन में 80 से अधिक ग्रामीण नागरिकों की उपस्थिति दर्ज की गई, जिसमें 10 स्वयं सहायता समूहों की महिलाओं ने भी बढ़ चढ़ के भाग लिया। कार्यक्रम के दौरान वित्तीय डिजिटल साक्षरता के महत्व पर जोर देते हुए, केसीसीबी प्रबंधक ने उपस्थित ग्रामीणों को डिजिटल बैंकिंग सेवाओं का लाभ उठाने, साइबर सुरक्षा, और सरकारी योजनाओं का सदुपयोग करने के बारे में मार्गदर्शन दिया। कार्यक्रम के अंत में, सभी उपस्थित लोगों ने ईमानदारी और पारदर्शिता की शपथ ली। यह शपथ सभी ने समाज में ईमानदारी, कानून पालन, और भ्रष्टाचार-मुक्त जीवन जीने का संकल्प लिया। इस ग्राम सभा का मुख्य उद्देश्य भ्रष्टाचार के विरुद्ध जागरूकता फैलाना था। अंत में वार्ड पंच सरोज कुमारी ने सभी का धन्यवाद किया।
विजिलेंस अवेयरनेस वीक जैसे आयोजन न केवल समाज में ईमानदारी और नैतिकता को बढ़ावा देते हैं, बल्कि सरकारी सेवाओं में पारदर्शिता और जनता का विश्वास भी बनाए रखते हैं। ऐसे कार्यक्रम समाज में सकारात्मक बदलाव लाने के साथ-साथ ग्रामीण क्षेत्रों में वित्तीय और डिजिटल साक्षरता को बढ़ावा देने का कार्य करते हैं। इस अवसर पर, नाबार्ड, हिमांशु साहू ने PIDPI (Public Interest Disclosure and Protection of Informers) के बारे में जानकारी दी। उन्होने बताया कि इसको हिन्दी में जनहित प्रकटीकरण और मुखबिर संरक्षण संकल्प, 2004 के नाम से जाना जाता है आर यह 2004 में लाया गया था, जिसका उद्देश्य सरकारी अधिकारियों द्वारा भ्रष्टाचार या अन्य अनियमितताओं की जानकारी देने वाले व्यक्तियों को सुरक्षा प्रदान करना है। PIDPI के माध्यम से, लोग गोपनीय तरीके से भ्रष्टाचार की शिकायत कर सकते हैं और इस प्रक्रिया में उनकी पहचान सुरक्षित रखी जाती है। इस अधिनियम का उद्देश्य जनता को भ्रष्टाचार के विरुद्ध आवाज उठाने के लिए प्रोत्साहित करना है।