मोदी सरकार की विदेश नीति पूरी तरह फेल हुई साबित: चंदन राणा

हमीरपुर/मीनाक्षी सोनी: पहलगाम में हुए आतंकी हमले के बाद भारतीय सेना के शौर्य और संकल्प की प्रशंसा करते हुए, प्रदेश युवा कांग्रेस के पूर्व मीडिया चेयरमैन डॉ. चंदन राणा ने मोदी सरकार की विदेश नीति पर गंभीर सवाल उठाए। उन्होंने कहा कि जब पूरा देश एकजुट होकर सेना और सरकार के साथ खड़ा था, तब अंतरराष्ट्रीय स्तर पर मोदी सरकार की कूटनीतिक विफलता सामने आई। जारी प्रेस विज्ञप्ति में डॉ. राणा ने कहा कि प्रधानमंत्री मोदी ने पिछले दस वर्षों में 75 देशों की यात्रा कर मजबूत अंतरराष्ट्रीय कूटनीतिक संबंध स्थापित करने का दावा किया था लेकिन युद्ध जैसी स्थिति में ये दावे खोखले साबित हुए। उन्होंने कहा कि मुश्किल समय में भारत के साथ केवल कुछ ही देश खड़े दिखे, जबकि जिन देशों की भारत ने सहायता की थी, वे भी पाकिस्तान के साथ नजर आए। राणा ने अंतरराष्ट्रीय मुद्रा कोष (आईएमएफ) द्वारा पाकिस्तान को 2.1 बिलियन डॉलर का ऋण दिए जाने पर भी सवाल उठाया। उन्होंने कहा कि 9 मई को दिए गए इस ऋण पर अमेरिका सहित आईएमएफ के 191 सदस्य देशों में से कोई भी भारत के साथ खड़ा नहीं हुआ। युद्ध जैसी स्थिति में पाकिस्तान को इतनी बड़ी आर्थिक सहायता आईएमएफ की कार्यशैली और उसमें भारत की 2.75 प्रतिशत हिस्सेदारी पर भी संदेह उत्पन्न करती है।
उन्होंने आगे कहा कि पाकिस्तान को ऋण देने का समय और राशि, दोनों ही संदेह पैदा करते हैं। आशंका है कि इसका उपयोग अंतरराष्ट्रीय सीमा पर आतंकवाद को बढ़ावा देने के लिए किया जा सकता है, जो कि मोदी सरकार और विदेश मंत्री डॉ. एस. जयशंकर की विफल विदेश नीति को प्रमाणित करता है। डॉ. राणा ने कहा कि यह अंतरराष्ट्रीय स्तर पर भारत के लिए कूटनीतिक रूप से एक बड़ी विफलता है।