होशियार के सामने डॉक्टर में ही कांग्रेस की होशियारी !
**कुछ अप्रत्याशित नहीं हुआ तो डॉ.राजेश शर्मा होंगे कांग्रेस का चेहरा
**देहरा में 2012 और 2017 में हुई थी कांग्रेस की जमानत जब्त
**2022 में डॉक्टर राजेश ने दमदार तरह से लड़ा था चुनाव
मुझे मंजिल तक पहुंचना है फिर रास्तों की फिक्र कैसी, अक्सर तूफान के बाद ही आसमान साफ होता है, जिस देहरा में 2012 और 2017 में कांग्रेस की जमानत तक जब्त हो गई थी उसी देहरा में पिछली बार कांग्रेस सिर्फ 3877 वोटो के मार्जिन से जीत से दूर रही थी। यानी देहरा में कांग्रेस की परफॉरमेंस बेहतर हुई थी। अब फिर देहरा में उपचुनाव होने जा रहा है, अब फिर देहरा की सियासत उबाल खा रही है। यहाँ भाजपा प्रत्याशी कौन होगा इसको लेकर तो कोई संशय नहीं है, लेकिन कांग्रेस किस पर दांव खेलेगी ये बड़ा सवाल है ? फिलहाल तो डॉ.राजेश शर्मा ही कांग्रेस के पास एक मजबूत चेहरा है। कांग्रेस इस दफा भी अगर डॉ.राजेश शर्मा को ही टिकट देती है तो जाहिर है कि देहरा में मुकाबला कांटे का होगा। बहरहाल आज चर्चा देहरा की सियासत पर...
यूं तो देहरा विधानसभा सीट हमेशा चर्चे में ही रही है। यहां के सियासी समीकरण कब और कैसे बदल जाए ये समझना मुश्किल है। अब कभी निर्दलीय चुनाव जीत कर विधानसभा पहुंचे होशियार सिंह आज भाजपाई हो गए है। होशियार सिंह ने इस्तीफा क्यों दिया ये भी बड़ा सवाल है। ख़ैर, इस सवाल का जवाब फिर कभी तलब करेंगे। आज बात देहरा में कांग्रेस परफॉरमेंस पर। इसमें कोई दोहराएं नहीं है कि पिछले कई सालों से देहरा में भाजपा कांग्रेस के मुकाबले होशियार सिंह मजबूत रहे है, लेकिन पिछले कुछ चुनावी नतीजों का आंकलन किया जाए तो अब देहरा में कांग्रेस उतनी कमज़ोर भी नहीं है जितनी कभी हुआ करती थी। 2012 में यहाँ कांग्रेस प्रत्याशी की जमानत जब्त हुई है और 2017 में तो कांग्रेस ने अपनी दिग्गज नेता विप्लव ठाकुर को मैदान में उतारा था और तब विप्लव ठाकुर भी अपनी जमानत तक नहीं बचा पाई थी। बुरी तरह शिकस्त झेल रही पार्टी ने केवल पिछले विधानसभा चुनाव में ही बेहतर परफॉर्म किया है। 2022 में डॉ.राजेश शर्मा ने कांग्रेस की टिकट पर चुनाव लड़ा और कड़ी टक्कर देते हुए 19,120 वोट हासिल किए। यहाँ जीत का मार्जिन भी 3877 वोटो का ही रहा था। यानी जो कांग्रेस कभी अपनी जमानत नहीं बचा पाती थी आज वही कांग्रेस देहरा में कांटे की टक्कर दे रही है। अब फिर उपचुनाव है और इस बार कांग्रेस पिछली दफा से ज़्यादा बेहतर करने की उम्मीद में होगी। जाहिर सी बात है कि कांग्रेस यहाँ किसी मजबूत दमदार और जिताऊ चेहरे पर ही दांव खेलना चाहेगी। अब कई चाहवान टिकट की टक-टकी लगाए बैठे है, लेकिन नज़रे टिकी है कांग्रेस पार्टी पर, अब देखना ये होगा कि देहरा में कांग्रेस किस पर मेहरबान होती है।