भारत की सबसे अमीर महिलाओं में शामिल हैं सावित्री जिंदल, जानें कैसे पहुंची इस मुकाम पर
सावित्री जिंदल, एक कामयाब बिजनेसवुमन ही नहीं एक पॉलिटिशियन भी हैं। उम्र के उस पड़ाव में आकर जब लोग काम से रिटायरमेंट लेने और घर के कामों से आराम चाहते हैं, उस उम्र सावित्री जिंदल ने अपनी ज़िन्दगी को सही मायनों में जीना शुरू किया । यहां तक कि भारत की सबसे अमीर महिलाओं की लिस्ट में भी शामिल हुईं। सावित्री जिंदल की सफलता की कहानी किसी फिल्म से कम नही है। घर की गृहिणी से लेकर बिजनेसवुमन बनने तक का उनका सफर शानदार है।
71 वर्ष की सावित्री जिंदल वर्तमान में जिंदल ग्रुप ऑफ कंपनी की चेयरपर्सन हैं। सावित्री जिंदल का जन्म 20 मार्च 1950 को हुआ था। तिनसुकिया असम की रहने वाली सावित्री की शादी ओमप्रकाश जिंदल से 1970 में हुई थी। ओपी जिंदल ने जिंदल ग्रुप की स्थापना की। जो स्टील और पॉवर का काम करती थी।
राजनीति में भी काफी सक्रिय:
जिंदल परिवार हरियाणा की राजनीति में भी काफी सक्रिय रहा है। सावित्री जिंदल के पति ओम प्रकाश जिंदल हिसार विधानसभा से कांग्रेस के टिकट पर लगातार तीन बार चुनाव जीते। ओम प्रकाश जिंदल के निधन के बाद सावित्री जिंदल ने हिसार से विधानसभा उपचुनाव लड़ा और हरियाणा सरकार में मंत्री बन गईं।
नौ बच्चों की मां सावित्री जिंदल 55 वर्ष की थीं। जब पति के अचानक देहांत के बाद उन्होंने नई दुनिया में कदम रखा। घर के कामकाज से निकलकर उन्होंने बिजनेस को संभाला। इसी के साथ ही वो नेता और सामाजिक कार्यकर्ता के रूप में भी जिम्मेदारियों को बखूबी संभालती दिखीं। अपने अथक प्रयास के बल पर और कंपनी को नए मुकाम पर पहुंचाने के बाद सावित्री जिंदल भारत की सबसे अमीर महिलाओं की लिस्ट में शामिल हुईं।
सावित्री जिंदल ने जिंदल ग्रुप को नई ऊंचाईयों पर पहुंचाया। ओपी जिंदल ने बिजनेस की दुनिया मे कदम एक छोटी फैक्टरी के साथ रखा था। जिसमे बाल्टी बनने का काम होता है। हिसार में शुरू इस यूनिट के साथ ही उन्होने जिंदल इंडिया लिमिटेड की स्थापना की। कारोबार को आगे बढ़ाने के साथ जिंदल ग्रुप की कंपनियों में जिंदल सा लिमिटेड, जेएसडब्ल्यू स्टील, जिंदल स्टेनलेस स्टील लिमिटेड और जिंदल स्टील एंड पॉवर लिमिटेड शामिल है। अपने नैतिक मूल्यों और काम के प्रति प्रतिबद्धता के साथ पति के मूल्यों को साथ रखते हुए सावित्री जिंदल ने कंपनी के टर्नओवर को बढ़ाया। सावित्री जिंदल ने अपने कार्यकाल में जिंदल ग्रुप के टर्नओवर को चार गुना बढ़ाने में मदद की।
बिजनेस में सफलता हासिल करने के बाद सावित्री जिंदल ने राजनीति में कदम रखा और पति के कदमों पर चलते हुए हिसार असेंबली से चुनाव लड़ा। जहां से वो 2005 और 2009 में जीत हासिल की। इसी के साथ ही वो आपदा एवं राजस्व प्रबंधन और शहरी स्थानीय निकाय और आवास के राज्य मंत्री पद पर भी थीं। सावित्री जिंदल जिंदल ग्रुप को आगे बढ़ाने के साथ ही समाज सेवा के काम में भी लगी रहती हैं। वहीं वो हर संभव तरीके से आम आदमी की मदद करने की कोशिश करती हैं।