हिमाचल में मस्जिद के अवैध निर्माण से बाहरी लोगों को लेकर उपजे विवाद के बाद सरकार एक्शन मोड में आ गई है। प्रदेश सरकार ने सबसे पहले नगर निगम शिमला की परिधि के तहत स्ट्रीट वेंडर को रेगुलेट करने की प्रक्रिया शुरू कर दी है, जिसके तहत शहरी विकास मंत्री विक्रमादित्य सिंह ने शिमला शहर के विधायक हरीश जनारथा, नगर निगम मेयर सुरेंद्र चौहान, शिमला व्यापार मंडल व शहर की स्ट्रीट वेंडर्स एसोसिएशन के साथ एक महत्वपूर्ण बैठक की, जिसमें विक्रमादित्य सिंह ने नगर निगम को तहबाजारियों की पहचान करके, शहर में स्ट्रीट वेंडर जोन चिन्हित व स्ट्रीट वेंडर्स के लिए ब्लू लाइन लगाने के निर्देश दिए हैं। जहां पर वेंडिंग होगी, जिसके लिए तहबाजारियों को परमिट जारी किए जाएंगे, जिसका हर तीन साल में कमेटी की ओर से रिव्यू किया जाएगा। शहरी विकास मंत्री विक्रमादित्य सिंह ने कहा कि वेंडिंग के लिए जोनिंग और ब्लू लाइन का कार्य पूरा करने के लिए नगर निगम आयुक्त को 30 दिसंबर की डेडलाइन दी गई है, जिसमें विकलांग, विधवा, आर्थिक रूप से कमजोर वर्गों, अनुसूचित जाति व अनुसूचित जनजाति को प्राथमिकता दी जाएग। इसकी बकायदा नियमित तौर पर मॉनिटरिंग भी की जाएगी। उन्होंने कहा कि सभी स्ट्रीट वेंडर को अपने लाइसेंस फोटो के साथ दुकान के आगे लगाने होंगे। बिना लाइसेंस वालों को शहर में नहीं बैठने दिया जाएगा। विक्रमादित्य सिंह ने कहा कि नगर निगम शिमला ने अभी तक शहर में 1060 तक स्ट्रीट वेंडर की पहचान की है, जिनमें से 540 नए तहबाजारी और जुड़े हैं। उन्होंने कहा कि इसमें कुछ त्रुटियां भी रह गई हैं। शहर में कई ऐसे वेंडर भी हैं, जिनकी वैरिफिकेशन हो चुकी है, लेकिन ऐसे लोग अब मौके पर नहीं बैठ रहे हैं। इनकी भी पहचान करने के लिए कहा गया है। विक्रमादित्य सिंह ने कहा कि स्ट्रीट वेंडरों के लिए विभाग ने नगर निगम को किराया तय करने के निर्देश दिए है। उन्होंने कहा कि लोअर बाजार, लक्कड़ बाहर और मिडल बाजार आदि भीड़ भाड़ वाले क्षेत्रों में अधिक रेट और बाकी जगहों पर कम किराया रखने के लिए कहा गया है, ताकि व्यापारी व स्ट्रीट वेंडर को कोई नुकसान नहीं हो। व्यापारियों की शिकायत है कि शिमला में रविवार को संडे मार्केट सजती है, जिसमें बाहरी राज्यों से भी लोग दुकानें सजाते हैं, लेकिन उनकी ना तो कोई पहचान होती है, ना ही नगर निगम को आय होती है। ऐसे में नगर निगम आयुक्त को इन्हें रेगुलेट किए जाने के निर्देश दिए गए हैं। उन्होंने कहा कि स्ट्रीट वेंडिंग में हिमाचल के लोगों को प्राथमिकता दी जाएगी।
हिमाचल प्रदेश स्कूल शिक्षा बोर्ड मार्च 2025 में होने वाली बोर्ड की वार्षिक परीक्षाओं में 32 नंबर के आसान आर 20 नंबर के कठिन प्रश्न विद्यार्थियों से पूछेगा। इसके अलावा सामान्य स्तर के 28 नंबर के प्रश्न पूछे जाएंगे। इस दौरान प्रश्नपत्र के 40 फीसदी प्रश्न आसान, 35 फीसदी सामान्य और 25 फीसदी कठिन प्रश्न पूछे जाएंगे। मार्च में नए पैटर्न में आने वाले प्रश्नपत्रों के शिक्षा बोर्ड ने मॉडल पेपर तैयार किए हैं, जिन्हें बोर्ड की वेबसाइट पर अपलोड कर दिया गया है। बोर्ड की ओर से प्रश्नपत्र के पैटर्न में बदलाव करने का मुख्य उद्देश्य शिक्षा बोर्ड से परीक्षा पास करने वाले परीक्षार्थियों को आगामी प्रतियोगी परीक्षाओं के लिए तैयार करना है। एमसीक्यू प्रश्नों को हल करने के लिए ओएमआर सीट भी दी जाएगी। यह बदलाव तीसरी, पांचवीं, आठवीं, नौवीं, 10वीं, 11वीं और 12वीं कक्षा के प्रश्नपत्रों में देखने को मिलेगा। बोर्ड के नए पैटर्न के अनुसार स्कूल शिक्षा बोर्ड एक नंबर के 16 प्रश्न पूछेगा। इनमें नौ प्रश्न आसान, चार सामान्य और तीन का स्तर कठिन रहेगा। इसके अलावा दो नंबर के नौ प्रश्न पूछे जाएंगे, जिनमें पांच आसान और दो-दो प्रश्न सामान्य और कठिन श्रेणी से रहेंगे। वहीं, तीन नंबर के छह प्रश्न पूछे जाएंगे, जिसमें आसान तीन, सामान्य दो और कठिन स्तर का एक कठिन स्तर का प्रश्न पूछेगा, जबकि चार नंबर के तीन प्रश्न पूछे जाएंगे, जिसमें आसान स्तर का एक और सामान्य स्तर के दो प्रश्न रहेंगे। इसके अलावा पांच नंबर के दो प्रश्न पूछे जाएंगे, जिनका स्तर कठिन श्रेणी का रहेगा। वहीं छह नंबर एक ही प्रश्न पूछा जाएगा, जो कि सामान्य श्रेणी से आएगा। शिक्षा बोर्ड आसान स्तर के 18, सामान्य स्तर के 11 और कठिन स्तर के आठ प्रश्न परीक्षा के दौरान पूछेगा। परीक्षाओं के लिए कक्षा 10वीं और 12वीं के आधुनिक तकनीक के आदर्श प्रश्नपत्र, अंक विभाजन और चरणबद्ध अंक योजना तैयार की गई है। प्रदेश के छात्रों और अध्यापकों की सुविधा के लिए इन आदर्श प्रश्नपत्रों और अंक विभाजन को कक्षावार और विषयवार बोर्ड की वेबसाइट पर अपलोड कर दिया गया है। इंदिरा गांधी राष्ट्रीय मुक्त विश्वविद्यालय (इग्नू) ने जुलाई 2024 सत्र के लिए सभी पाठ्यक्रमों सेमेस्टर और सर्टिफिकेट कार्यक्रमों के अतिरिक्त नए प्रवेश और पुन: पंजीकरण की अंतिम तिथि को तीस सितंबर तक बढ़ाया है। उच्च शिक्षा प्राप्त करने के इच्छुक छात्र इस बढ़ाई गई आवेदन की अंतिम तिथि तक प्रवेश के लिए ऑनलाइन आवेदन कर सकते है। ऑनलाइन प्रवेश के लिए इग्नू के सीधे लींक ignou.samarth.ac.in और इग्नू की वेबसाइट ignou.ac.in के माध्यम से ऑनलाइन आवेदन कर सकते है। प्रवेश से संबंधित अधिक जानकारी के लिए छात्र इग्नू के क्षेत्रीय अध्ययन केंद्र शिमला के दूरभाष नंबर 0177-262412 पर संपर्क कर सकते हैं। विश्वविद्यालय की ओर से यूजी डिग्री कोर्स बीए, बीएससी, बी कॉम और 2021-22 बैच बैच को प्रथम वर्ष की परीक्षा पास करने को दिए परीक्षा के अतिरिक्त गोल्डन चांस के लिए 29 सितंबर तक ऑनलाइन फार्म भरने का मौका दिया है। विवि के परीक्षा नियंत्रक डाॅ. श्याम लाल कौशल ने कहा कि परीक्षा अक्तूबर में होगी। इसके लिए विवि के nexams.hpushimla.in के माध्यम से परीक्षा फार्म भर सकते हैं। यूजी डिग्री को तय पांच साल की अविधि में पूरा करने के लिए दिए गए इस मौके में बीए, बीएससी, बीकॉम और शास्त्री डिग्री के 2021-22 बैच के वो छात्र पात्र होंगे, जिनकी प्रथम वर्ष में कंपार्टमेंट है।
राजधानी शिमला के पास समरहिल के जंगलों में 20 साल की युवती का शव बरामद हुआ है। पुलिस के मुताबिक पहली नजर में ये मामला खुदकुशी का लग रहा है और फिलहाल पोस्टमार्टम रिपोर्ट का इंतजार किया जा रहा है। सूत्रों के मुताबिक ये मामला प्रेम प्रसंग से जुड़ा हुआ है। दरअसल सिरमौर जिले की रहने वाली लड़की एक लड़के से प्रेम करती थी। युवक भी सिरमौर जिले का ही रहने वाला था। एक ही गांव के होने के कारण दोनों के प्रेम प्रसंग की जानकारी परिजनों को भी थी। बताया जा रहा है कि कुछ वक्त से दोनों के रिश्तों में खटास आ गई थी, जिसके बाद लड़की ने अपने प्रेमी से शादी करने से इनकार कर दिया था। प्रेमिका के शादी से इनकार करने के बाद प्रेमी आहत था। कुछ दिन पहले ही युवक ने सोलन में खुदकुशी कर ली थी, जिससे आहत होकर 20 साल की युवती ने भी अपनी जीवन लीला समाप्त कर ली। समरहिल पुलिस चौकी को जंगल में एक युवती का शव मिलने की जानकारी मिली थी, जिसके बाद पुलिस ने मौके पर पहुंचकर शव को कब्जे में लिया और पोस्टमार्टम के लिए आईजीएमसी भिजवाया था। युवती अपने भाई के पास रहने के लिए शिमला आई हुई थी। जो हिमाचल प्रदेश विश्वविद्यालय (HPU) में पढ़ाई कर रहा है। भाई की शिकायत पर ही पुलिस ने मामला दर्ज किया है और जांच कर रही है। शिमला एसपी संजीव गांधी ने बताया कि शिमला के समरहिल में एक युवती के सुसाइड का मामला दर्ज हुआ है। पोर्स्टमार्टम के बाद शव को परिजनों के हवाले कर दिया है और मामले में जांच शुरू कर दी है।
हिमाचल प्रदेश में एक कांस्टेबल को नौकरी से निकालने के मामले में पूर्व डीजीपी संजय कुंडू, दो रिटायर्ड पुलिस ऑफिसर, 3 एसपी समेत 10 पुलिस अधिकारियों के खिलाफ एफआईआर दर्ज हुई है। सक्षम अदालत के आदेश पर आईजी साउथ रेंज ने शिमला सदर पुलिस स्टेशन को केस दर्ज करने के निर्देश दिए हैं। पूर्व डीजीपी संजय कुंडू समेत अन्य 10 पुलिस अधिकारियों के खिलाफ अनुसूचित जाति और अनुसूचित जनजाति एक्ट की धारा 3(1)(P), एससी-एसटी एक्ट 1989 के तहत मुकदमा रजिस्टर हुआ है। नौकरी से निकाले गए कांस्टेबल धर्म सुख नेगी की पत्नी मीना नेगी की शिकायत के आधार पर ये एफआईआर दर्ज की गई है, जिसमें महिला ने पूर्व डीजीपी संजय कुंडू, पूर्व आईपीएस समेत अन्य पुलिस अधिकारियों पर उसके पति के उत्पीड़न का आरोप लगाया था। कांस्टेबल और उसकी पत्नी जनजातीय जिला किन्नौर के रहने वाले हैं। ये मामला पूर्व भाजपा के कार्यकाल का हैं। जब संजय कुंडू हिमाचल पुलिस के मुखिया थे। महिला ने पुलिस अधिकारियों के खिलाफ दर्ज शिकायत में बताया कि पुलिस के उच्च अधिकारियों ने अपने पद का दुरुपयोग करते हुए उसके पति धर्म सुख नेगी को नौकरी से निकाला है। महिला ने बताया है कि पुलिस अधिकारियों ने पहले उसके पति पर झूठे व मनगढ़ंत आरोप लगाए और फिर विभागीय जांच बैठा कर 9 जुलाई 2020 को जबरन बेइज्जत करके नौकरी से निकाल दिया, जबकि कांस्टेबल के तौर पर उसके पति का 8 वर्षों का सेवाकाल बचा हुआ था। शिकायतकर्ता का कहना है कि उसके पति को पुलिस हेडक्वार्टर से आवंटित सरकारी आवास का बिना वर्क आउट के 1 लाख 43 हजार 424 रुपए का रेंट वसूलने के आदेश दिए। इसके अलावा 2020 से अब तक उनकी ग्रेच्युटी, डीसीआरजी और अन्य लाखों रुपयों का रिटायरमेंट बेनिफिट्स को रोक कर रखा गया है। महिला ने बताया कि उसके पति को सरकारी आवास को खाली करने को लेकर कई बार तत्कालीन डीजीपी संजय कुंडू और एसपी वेलफेयर ने उन्हें जलील किया है। इसके लिए तत्कालीन डीजीपी और एसपी वेलफेयर द्वारा पुलिस आवासीय कॉलोनी भराड़ी व उनके पैतृक गांव रामनी, किन्नौर में बार-बार नोटिस भेजकर उनके परिवार को समाज में जलील किया गया। महिला ने शिकायत में बताया कि नवंबर 2023 को उन्होंने कोर्ट, पूर्व मुख्यमंत्री जयराम ठाकुर, मुख्य सचिव, गृह सचिव और एसपी शिमला को प्रार्थना पत्र देकर उनके परिवार पर हुए अत्याचार और अमानवीय व्यवहार की जानकारी भी दी गई थी। शिकायतकर्ता ने आरोप लगाया है कि पूर्व डीजीपी और अन्य पुलिस अधिकारियों ने अपने पद का दुरुपयोग करते हुए उसके पति व परिवार को सामाजिक, आर्थिक व मानसिक तौर पर पीड़ा पहुंचाई है, जिससे आज उसका परिवार भुखमरी की कगार पर पहुंच गया है। महिला द्वारा पूर्व डीजीपी संजय कुंडू, रिटायर आईपीएस हिमांशु मिश्रा और अरविंदर शारदा, एसपी शालिनी अग्निहोत्री, दिवाकर दत्त शर्मा, अंजू आरा खान, भगत सिंह ठाकुर, पंकज शर्मा, मीनाक्षी और डीएसपी बलदेव शर्मा शामिल हैं। मामले में शिमला पुलिस ने अनुसूचित जाति और अनुसूचित जनजाति एक्ट की धारा 3(1)(P) के तहत एफआईआर दर्ज करके जांच शुरू कर दी है।
शिमला: हिमाचल में जिला शिमला के तहत लोक 16 मील धामी में लोक निर्माण मंत्री विक्रमादित्य सिंह ने हिमाचल प्रदेश राज्य सहकारी बैंक की 262 वीं शाखा का शुभारंभ किया। इस अवसर पर उन्होंने कहा कि प्रदेश सरकार के कार्यकाल के दौरान लोगों की मांग पर अब तक 22 ब्रांचों को खोलने के लिए स्वीकृति प्रदान की गई है। राज्य सहकारी बैंक आम-जनमानस के साथ-साथ किसानों- बागवानों वरिष्ठ नागरिकों की जरूरतों को पूरा करने में अपनी अहम भूमिका निभा रहा है, जिससे सहकारी बैंक की आमदनी में भी बढ़ौतरी हो रही है। मंत्री विक्रमादित्य सिंह ने कहा कि सहकारी बैंक की ओर से विभिन्न स्वयंसेवी संस्थाओं के साथ-साथ गरीब परिवारों के उत्थान के लिए कई योजनाएं चलाई गई है, जिसके जरिए लोगों को बहुत कम दरों पर ऋण दिया जा रहा है। इस दौरान अगर कोई भी संस्था या व्यक्ति नियमित रूप से ऋण की अदायगी करता है तो उनके ऋण ब्याज में और कमी का प्रावधान भी है। विक्रमादित्य सिंह ने कहा कि सहकारी बैंक के राजस्व में काफी अधिक बढ़ोतरी हुई है, जिसमें अब तक 26 हाजर करोड़ रुपए का टर्नओवर शामिल है, जिस कारण ये बैंक अच्छे काम के कारण देश के सभी सहकारी बैकों की सूचि में तीसरे नंबर पर पहुंच गया है। विक्रमादित्य सिंह ने कहा कि हर घर को सड़क सुविधा से जोड़ना हमारा दायित्व है। उन्होंने बताया कि प्रधानमंत्री ग्राम सड़क योजना के तीसरे चरण में शिमला ग्रामीण विधानसभा क्षेत्र में करीब 70 करोड़ की राशि खर्च की जा रही है। सरकार अब चौथे चरण का कार्य शुरू करने जा रही है। जिसमें सभी गावों को सड़क सुविधा से जोड़ने के लिए कार्य योजना तैयार की जा रही है। लोक निर्माण मंत्री ने बताया कि टुटु के पास नई सब्जी मंडी बनकर तैयार है, जिसका जल्द ही शुभारंभ किया जाएगा, जाठिया में हिमालयन काॅलोनी नाम से एक बड़ा शहर बनाने के लिए केन्द्र सरकार से शीघ्र परियोजना स्वीकृत करने का आग्रह किया गया हैं। उन्होंने बताया कि शिमला-कांगड़ा फोरलेन को तारादेवी-बडैहरी-रैहल होते हुए घनाहटी के लिए जोड़ने के लिए एलाइनमेंट का काम जारी है। अगर किसी की मलकीयती जमीन सड़क में आती है तो उसके लिए उचित मुआवजे का प्रावधान किया जाएगा। पीडब्ल्यूडी मंत्री विक्रमादित्य सिंह ने बताया कि हीरानगर के पास करीब 5.50 करोड़ की लागत से खंड विकास अधिकारी कार्यालय का नया भवन बनाया जाएगा, जिसके लिए सभी औपचारिकताएं पूरी कर ली गई हैं और शीघ्र ही निर्माण कार्य शुरू कर दिया जाएगा। इस मौके पर राज्य सहकारी बैंक देवेंद्र श्याम ने कहा कि सहाकारी बैंक की इस नई शाखा में 9 करोड़ रुपए का डिपोजिट है, जिसे बढ़ाना हम सभी का दायित्व है। उन्होंने कहा कि सहकारी बैंक की ओर से 11 हजार किसानों-बागवानों को केसीसी बैंक ऋण प्रदान किए गए हैं।
देश के कई हिस्सों से मानसून विदा होने लगा है लेकिन हिमाचल प्रदेश में फिलहाल मानसून से राहत नहीं मिलने वाली है। हिमाचल में 25 सितंबर से लेकर 27 सितंबर तक भारी बारिश की संभावना मौसम विभाग ने जताई है। इसको लेकर येलो अलर्ट भी जारी किया गया है। इस दौरान कई हिस्सों में ओलावृष्टि और गर्जन के साथ बारिश भी हो सकती है। सोमवार को शिमला सहित प्रदेश के अधिकतर हिस्सों में मौसम साफ बना हुआ है पिछले दो-तीन दिनों से बारिश न होने के चलते तापमान में भी काफी ज्यादा बढ़ोतरी देखने को मिली है खासकर राजधानी शिमला में तापमान 28 डिग्री तक पहुंच गया है जो कि इससे सीजन का सबसे ज्यादा तापमान रिकार्ड किया गया है। मौसम विज्ञान केंद्र के निदेशक कुलदीप श्रीवास्तव ने कहा कि देश के कुछ हिस्सों से मानसून की वापसी हुई है और राजस्थान, गुजरात में भी 24 घंटे में मानसून विदा हो सकता है। हिमाचल प्रदेश की बात करें तो हिमाचल प्रदेश में फिलहाल अभी मानसून जारी रहेगा और 25 सितंबर से फिर से बारिश होने की संभावना है। प्रदेश में 27 सितंबर तक मौसम खराब बना रहेगा और इस दौरान ओलावृष्टि गर्जन के साथ बारिश होने की संभावना है और इसको लेकर येलो अलर्ट भी जारी किया गया है। उन्होंने कहा कि प्रदेश में बीते तीन-चार दिनों से मौसम साफ बने रहने से तापमान में भारी बढ़ोतरी देखने को मिली है दो दिन पहले शिमला में तापमान 26 डिग्री तक पहुंच गया आज मौसम साफ बना रहेगा तो 28 डिग्री तक अधिकतम तापमान पहुंच जाएगा जो की सीजन का सबसे ज्यादा तापमान दर्ज किया जाएगा।
** कहा, हम आपदा फंड देते हैं, तो यह सीएम राहत कोष में नहीं, सोनिया गांधी के खाते में जाता है मंडी से भाजपा सांसद कंगना रनौत ने मनाली के शलीन गांव में रविवार को आयोजित भाजपा के सदस्यता अभियान कार्यक्रम में आरोप लगाया कि हिमाचल प्रदेश सरकार कर्ज लेती है और इसे कांग्रेस की पूर्व अध्यक्ष सोनिया गांधी को देती है, जिससे राज्य का खजाना खाली हो रहा है। सुक्खू सरकार पर हमला करते हुए कहा, आपदाओं और कांग्रेस सरकार ने राज्य को दशकों पीछे धकेल दिया है। उन्होंने कहा, अगर हम आपदा निधि देते हैं तो वह मुख्यमंत्री राहत कोष में जानी चाहिए, लेकिन सभी जानते हैं कि वह सोनिया राहत कोष में जाती है। लोक निर्माण मंत्री विक्रमादित्य सिंह पर कटाक्ष करते हुए कंगना ने कहा, मेरे खिलाफ चुनाव लड़ने वाले राजा के बेटे की हरकतें सभी को पता हैं। लोग सड़कों पर गड्ढों से तंग आ चुके हैं। उन्होंने कहा, मैं अपने क्षेत्र के लिए जितना संभव होगा, उतना करूंगी, लेकिन पीडब्ल्यूडी मंत्री को भी कुछ करना चाहिए। उन्होंने कहा कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी एक युगपुरुष हैं और वे बेहद सुलझे हुए ढंग से समस्याओं से निपटते हैं। कंगना ने भाजपा के सदस्यता अभियान की शुरुआत करने के बाद कार्यकर्ताओं को संबोधित किया कि हर कोई जानता है कि भ्रष्टाचार व्याप्त है और कांग्रेस शासित राज्य सरकारों ने अपने-अपने राज्यों को खोखला कर दिया है। उन्होंने आश्चर्य जताया कि कांग्रेस चुनावों पर इतना अधिक खर्च कैसे करती है। कंगना ने कहा है कि हिमाचल प्रदेश सरकार ने प्राथमिक स्कूलों की खेलों को बंद करने का जो फैसला लिया है, वह गलत है। युवाओं को खेलों में आगे लाने के लिए वह जल्द ही मंडी संसदीय क्षेत्र में एक भव्य खेल ऑडिटोरियम का निर्माण भी करवाएंगी। जनसभा में उन्होंने कहा कि प्रदेश सरकार ने जिस तरह से प्राथमिक स्कूलों में खेलों को बंद किया है, वह गलत है। प्रदेश सरकार एक और तो कर्ज पर कर्ज ले रही है और दूसरी ओर कर्मचारियों को वेतन और पेंशन समय पर नहीं दे पा रही।
हिमाचल प्रदेश सरकार के लोक निर्माण मंत्री विक्रमादित्य सिंह ने प्रदेश कांग्रेस मुख्यालय में मीडिया से बातचीत के दौरान कहा कि या तो सांसद कंगना यह साबित करें कि प्रदेश सरकार की ओर से सोनिया गांधी को पैसा दिया जा रहा है, अन्यथा उनके खिलाफ मानहानि का मुकदमा किया जाएगा। उन्होंने कहा कि सेंसर बोर्ड ने कंगना की फिल्म को बैन किया हुआ है, इसका दुख मनाने सांसद आजकल हिमाचल में आई हुई हैं। कहा कि कंगना का बयान दर्शाता है कि उनका मानसिक दिवालियापन हो चुका है। उन्होंने कहा कि कंगना ज्यादा शिक्षित नहीं है। इसलिए वह बार-बार ऐसे बयान देती रही हैं। कंगना ने बीते कल कहा था कि केंद्र से जो मदद आ रही है, वह सोनिया गांधी को दी जा रही है। इस पर विक्रमादित्य सिंह ने कहा कि कंगना या तो इसके प्रमाण दें, ऐसा नहीं किया तो सोनिया गांधी की छवि खराब करने के लिए मानहानि को तैयार रहें। विक्रमादित्य सिंह ने कहा कि इससे मूर्खतापूर्ण कोई बयान नहीं हो सकता है। केंद्र से जो बजट मिलता है, उसका खर्च लाइन ऑफ क्रेडिट(एलओसी) के आधार पर होता है। उन्होंने कंगना को चैलेंज किया कि कंगना एक रुपये की हेराफेरी साबित करके दिखाए। उन्होंने कहा कि ये वही सांसद है, जिन्हें भारतीय जनता पार्टी का हाईकमान फटकार लगा चुका है कि संवेदनशील मुद्दों पर ऐसी बयानबाजी न करें। समय के साथ वक्फ बोर्ड सहित हर संगठन, ट्रस्ट व धार्मिक संस्था में बदलाव व सुधार होना चाहिए। विक्रमादित्य ने कहा कि जिस तरीके का एक माहाैल हिमाचल में बना हुआ है। हम सब चाहते हैं कि सब लोग शांति के साथ रहे, भाईचारे व प्रेम के साथ रहे। प्रदेश में शांति व्यवस्था बनाए रखना यह सरकार की जिम्मेदारी है। लेकिन जिस तरीके के सवाल जमीन आवंटन को लेकर उठ रहे हैं, उसको देखते हुए समय के साथ हर संगठन, ट्रस्ट व धार्मिक संस्था में बदलाव व सुधार होना चाहिए। विक्रमादित्य ने कहा कि भीमाकाली मंदिर भी पहले उनकी निजी संपत्ति थी, लेकिन पूर्व सीएम वीरभद्र सिंह ने इसे सरकार के अधीन लाया ताकि इसमें पारदर्शिता आए। इसलिए वक्फ बोर्ड सहित अन्य संगठनों में भी पारदर्शिता आनी चाहिए। हिमाचल के पूर्व स्वास्थ्य मंत्री व कांग्रेस के वरिष्ठ नेता कौल सिंह ठाकुर ने सांसद कंगना रणाैत पर पलटवार किया है। उन्होंने कहा कि कंगना रणाैत की बातें अनपढ़ जैसी होती हैं कि उन्हें गंभीरता से नहीं लिया जा सकता। कांग्रेस की बैठक में भाग लेने पहुंचे कौल सिंह ठाकुर ने कहा कि चुनाव से पहले और चुनाव के बाद जनता से जो वादे किए थे, उन्हें पूरा करना चाहिए, लेकिन वे तो लापता हैं, सिर्फ एक बार अपने इलाके की जनता से मिलीं और उसके बाद उनका कोई पता नहीं है। उन्होंने कहा कि आपदा के वक्त कंगना कहीं नजर नहीं आईं, सिर्फ एक दौरा किया। इस बीच हिमाचल प्रदेश सरकार आपदा प्रभावितों के बीच में रही। हिमाचल कांग्रेस अध्यक्ष प्रतिभा सिंह ने कहा कि सांसद कंगना बिना तथ्य के बयानबाजी कर रही हैं। उन्होंने कहा कि ऐसा कोई कैसे सोच सकता है कि केंद्र से आ रही सहायता और राज्य के लिए लिया जा रहा कर्ज सोनिया गांधी के खाते में जा रहा है। उन्होंने कहा कि ऐसा बयान उनकी मानसिकता को दर्शाता है। इस तरह का बयान बेहद दुर्भाग्यपूर्ण है।
**देवभूमि संघर्ष समिति का 28 सितंबर को प्रदर्शन करने का ऐलान ** एमसी कोर्ट ने 5 अक्टूबर को फैंसला नहीं लिया तो शुरु होगा जेल भरो आंदोलन हिमाचल प्रदेश में चल रहे अवैध मस्जिद निर्माण को लेकर विवाद थमने का नाम नहीं ले रहा है। देवभूमि संघर्ष समिति ने अब एक बड़ा ऐलान कर दिया है। संघर्ष समिति 28 सितंबर को प्रदेश में सभी जिला मुख्यालयों में प्रदर्शन करने जा रही है। संजौली मस्जिद विवाद में अगर 5 अक्टूबर को फैसला नहीं आता है तो जेल भरो आंदोलन शुरू करने का देवभुमि संघर्ष समिति ने शिमला में पत्रकार वार्ता के दौरान ऐलान कर दिया है। देव भूमि संघर्ष समिति के संयोजक भरत भूषण ने शिमला में प्रेस कांफ्रेंस के दौरान कहा कि 5 अक्टूबर को यदि नगर निगम कोर्ट से संजौली मस्जिद मामले में कोई फैसला नहीं लिया तो देवभूमि संघर्ष समिति प्रदेश भर में जेल भरो आंदोलन शुरू करेगी। 1 सितंबर से शुरू हुए जन आंदोलन में अब तक प्रदेश भर में 28 स्थानों पर प्रदर्शन हो चुके हैं। हिमाचल प्रदेश के इतिहास में यह पहला आंदोलन है। जिसका कोई एक नेता नहीं है, कोई राजनीतिक दल या संगठन इसका नेतृत्व नहीं कर रहा हैं। यहां का समाज इस आंदोलन के लिए खड़ा हुआ है। बाहरी राज्यों से बिना पहचान के हिमाचल आकर माहौल बिगाड़ने का प्रयास कर रहे है इसे देवभूमि के लोग बर्दाश्त नहीं करेंगे।
** होटलों और होमस्टे में एडवांस बुकिंग दुर्गा पूजा टूरिस्ट सीजन के लिए किन्नौर और लाहौल-स्पीति सैलानियों की पहली पसंद बन गए हैं। 5 अक्तूबर के बाद किन्नौर और लाहौल-स्पीति में बजट होटल 50 फीसदी एडवांस बुक हो गए हैं, अन्य होटलों में भी 30 फीसदी कमरे बुक हैं। शहरों के शोर-शराबे से दूर साफ-सुथरी आबोहवा सैलानियों को आकर्षित कर रही है। किन्नौर में बर्फ से लकदक पहाड़ और सेब से लदे बगीचे सैलानियों को अपनी ओर खींच रहे हैं।दुर्गा पूजा टूरिस्ट सीजन के लिए इस साल शिमला, मनाली, धर्मशाला, डलहौजी के मुकाबले किन्नौर और स्पीति के लिए सैलानियों का अधिक रुझान देखने को मिल रहा है। सैलानी सराहन, सांगला, छितकुल, कल्पा, ताबो, काजा और केलांग के होटलों में बुकिंग करवा रहे हैं। किन्नौर के निचले इलाकों में सेब सीजन शुरू हो गया है। बगीचों में पौधे सेब से लदे हैं और चोटियों पर बर्फ है। साल दर साल किन्नौर और लाहौल-स्पीति में सैलानियों की संख्या बढ़ रही है। किन्नौर के होटल कारोबारी मोहन प्रकाश नेगी का कहना है कि मौजूदा समय में ट्रैकिंग के लिए टूरिस्ट किन्नौर पहुंच रहे हैं। दुर्गा पूजा टूरिस्ट सीजन के लिए कमरों की एडवांस बुकिंग शुरू हो गई है। सैलानी किन्नौर की प्राकृतिक खूबसूरती का लुत्फ उठाना चाहते हैं लेकिन सड़क की खराब स्थिति के कारण समस्या पेश आ रही है। हिमाचल के अन्य पर्यटन स्थलों के मुकाबले सैलानी किन्नौर और लाहौल-स्पीति जाना अधिक पसंद कर रहे हैं। शहरों से दूर साफ-सुथरी आबोहवा सैलानियों को आकर्षित कर रही है। किन्नौर और स्पीति के बजट होटलों में 50 फीसदी कमरे एडवांस बुक हो गए हैं हिल्सक्वीन शिमला में बंगाली सैलानियों की चहलपहल बढ़नी शुरू हो गई है। दुर्गा पूजा की छुट्टियां शुरू होने से पहले ही बंगाल के कारोबारी अपने परिवारों के साथ शिमला पहुंच रहे हैं। इन दिनों शिमला के कालीबाड़ी मंदिर में बड़ी संख्या में बंगाल के टूरिस्ट पूजा अर्चना करते देखे जा सकते हैं।
हिमाचल प्रदेश में विभिन्न विभागों की करीब 70 योजनाओं के टेंडर रद्द किए गए हैं। निविदा की राशि का सही आकलन नहीं करने पर अलग-अलग विभागों ने इस संबंध में फैसले लिए हैं तो कुछ मामलों में दस्तावेजों के पूरा न होने और अकेले बोलीदाता के आने पर भी इन्हें रद्द किया गया है। राज्य सरकार की सख्ती के बाद सभी प्रशासनिक सचिवों ने विभागाध्यक्षों को निर्देश जारी किए हैं कि विभिन्न योजनाओं के टेंडर लगाते वक्त इस बात का ध्यान रखा जाए कि फिजूलखर्ची न हो। अच्छी स्पर्धा करवाकर ही टेंडर लगाए जाएं। ऐसे में कई टेंडर दस्तावेजों में अनियमितताएं और अधूरापन पाए जाने पर उन्हें रद्द किया गया है। कुछ टेंडरों में दस्तावेज पूरे न होने की वजह से भी इन्हें खारिज किया गया है और औपचारिकताओं को पूरा करने के बाद इन्हें दोबारा लगाया जाएगा। बस स्टैंड से राजकीय वरिष्ठ माध्यमिक पाठशाला जुब्बल के लिए बस स्टैंड से रास्ता बनाने, जिला बिलासपुर की तहसील सदर में सोलग जुरासी से धार टटोह के लिए लिफ्ट इरिगेशन वाटर सप्लाई स्कीम, ज्वालामुखी में विभिन्न खड्डों में वर्षा जल संग्रहण ढांचे बनाना, तहसील घुमारवीं में नए स्रोत मनी खड्ड से जलापूर्ति योजना मालयोर, देवनगर से मूलबारी सड़क के लिए लिंक रोड में मेटलिंग और टारिंग, पॉलिटेक्निक कॉलेज हमीरपुर में मेकेनिकल इंजीनियरिंग ब्लॉक का निर्माण, राजकीय डिग्री कॉलेज सलूणी में बैडमिंटन कोर्ट और वॉलीबाल कोर्ट निर्माण, सुमन फाइलिंग स्टेशन रामपुर में इलेक्ट्रिक व्हीकल चार्जिंग स्टेशन का निर्माण, धर्मशाला में सिद्धपुर मोहाली फेज-दो में हाउसिंग कॉलोनी का निर्माण, ज्वाली में कम्युनिटी हेल्थ सेंटर बनाने, देहरा में न्यायिक कोर्ट परिसर का निर्माण, भावानगर में गानवी खड्ड से सिल्ट हटाने, नादौन के रैल में पीएचसी निर्माण, टांडा कॉलेज में न्यूरो सर्जरी के लिए उपकरण खरीद, नूरपुर में सामुदायिक भवन निर्माण, सैनिक स्कूल सुजानपुर टीहरा में हॉस्टल निर्माण सहित कई कामों के टेंडर रद्द किए गए हैं।
हिमाचल में वित्तीय संकट से जूझ रही सरकार डीए और एरियर का भुगतान नहीं कर पा रही है, जिससे प्रदेश भर में सरकारी कर्मचारी सहित पेंशनर्स सुक्खू सरकार से नाराज चल रहे हैं। सरकार के खिलाफ कर्मचारियों के रोष का मामला कांग्रेस हाईकमान तक पहुंच गया है। ऐसे में सुक्खू सरकार कई कड़े निर्णय लेकर लोगों को भाजपा के समय दी गई मुफ्त बिजली पानी सहित अन्य सुविधाओं को वापस लेकर खाली खजाने की सेहत सुधारने की दिशा में कदम बढ़ा रही है। इस तरह से खराब वित्तीय स्थिति और लोगों पर डाले जा रहे महंगाई के बोझ को लेकर कांग्रेस सरकार विपक्ष के निशाने पर है, जिसका असर दो राज्य हरियाणा और जम्मू कश्मीर के विधानसभा पर भी पड़ने के आसार हैं। इन सभी बातों का जवाब देने के लिए कांग्रेस की प्रदेशाध्यक्ष प्रतिभा सिंह ने आज पार्टी की बैठक बुलाई है, जिसमें मुख्यमंत्री सुखविंदर सिंह सुक्खू , डिप्टी मुकेश अग्निहोत्री सहित पार्टी के सभी नेताओं को बैठक में शामिल होने के निर्देश दिए गए हैं। खबर है कि इस दौरान प्रदेश में अवैध मस्जिद निर्माण के मामले को लेकर भी चर्चा होगी। कांग्रेस पार्टी प्रदेश मुख्यालय में प्रदेश अध्यक्ष प्रतिभा सिंह की अध्यक्षता में आज महत्वपूर्ण बैठक होने जा रही है, जिसमें सुखविंदर सिंह सुक्खू, उप मुख्यमंत्री मुकेश अग्निहोत्री सहित प्रदेश मंत्रिमंडल के सभी सदस्य, सीपीएस, कांग्रेस विधायक, प्रदेश कांग्रेस कमेटी के सभी पदाधिकारी, विधानसभा चुनावों में रहें पार्टी प्रत्याशियों, सभी जिलाध्यक्ष और अग्रणी संगठनों एवं विभागों के राज्य प्रमुखों को बुलाया गया है। इस बैठक में अखिल भारतीय कांग्रेस कमेटी के सचिव प्रदेश मामलों के सह प्रभारी विशेष तौर पर शिरकत करेंगे। कांग्रेस मुख्यालय में सुबह 11 बजे शुरू बैठक होगी। प्रदेश कांग्रेस संगठन महामंत्री रजनीश किमटा ने बताया है कि बैठक में संगठन से जुड़े अनेक विषयों पर वार्ता होगी। उन्होंने कहा कि बैठक में भाजपा के किसी भी दुष्प्रचार का मुंहतोड़ जवाब देने के लिए भी पार्टी की रणनीति तैयार करेगी। इसके लिए सभी पार्टी नेताओं को आवश्यक दिशा निर्देश जारी किए जाएंगे। बैठक में आमंत्रित सभी नेताओं, अभी पदाधिकारियों की उपस्थिति अनिवार्य की गई है।
**सरकारें अपनी पार्टी के चुनावी वादे के अनुसार काम करती है लेकिन कांग्रेस विपरीत काम कर रही है ** मुख्यमंत्री क्या 5 साल प्रदेश की जनता को झटके पर झटके ही देना चाहते हैं ** नौकरी माँग रहे युवाओं को विवाह करने की सलाह देना निंदनीय और हास्यास्पद शिमला: नेता प्रतिपक्ष जयराम ठाकुर ने शिमला से जारी बयान में कहा कि सुक्खू सरकार हर दिन प्रदेश वासियों को झटका दे रही है। चुनाव के समय लोकलुभावन वादे करने वाली कांग्रेस पार्टी भूल गई है कि प्रदेश के लोगों पर महंगाई का बोझ लादना सरकार चलाना नहीं होता है। चुनाव के समय हर चीज़ फ्री-फ्री-फ्री की घोषणा करने वाले पहले से मिल रही सुविधाएँ छीनते चले जा रहे हैं। बिजली पर मिलने वाली 125 यूनिट की सब्सिडी बंद करने और 300 यूनिट से अधिक बिजली खर्च करने पर ज़्यादा बिल वसूलने के तानाशाही फैसले के बाद अब सरकार ने प्रदेश की जनता को फिर एक झटका दिया है। इस बार सुक्खू सरकार ने प्रदेश के लोगों को को नि:शुल्क मिल रहे हैं पेयजल की योजना भी खत्म कर दिया है। इसके साथ ही शहरों में मिलने वाले पानी के कीमतों में भारी वृद्धि की है। जिसका असर प्रदेश वासियों के जेबों पर पड़ना तय है। चुनाव में सभी चीजें फ्री देने का वादा करने के बाद पहले से फ्री मिल रही है चीजों को छीन लेना, सुविधाओं को महंगा कर देना प्रदेश के लोगों से एक धोखा है। मुख्यमंत्री को प्रदेश के लोगों से माफी मांगनी चाहिए। जयराम ठाकुर ने कहा कि सबसे हास्यास्पद ये है कि हिमाचल में उसी कांग्रेस पार्टी की सरकार है, जिसनें चुनाव के दौरान बड़े-बड़े वादे किए थे। सब कुछ फ्री में देने का आश्वासन दिया था। खटाखट की स्कीम चलाकर हिमाचल समेत पूरे देश के लोगों को बरगलाने का काम किया था। इसके साथ ही हिमाचल प्रदेश में सत्ता में आने के बाद से प्रदेश के लोगों को महंगाई और बेरोज़गारी की दलदल में धकेलने वाली कांग्रेस देश के अन्य भागों में हो रहे विधानसभा चुनाव में फिर से झूठे वादे कर रही है। हरियाणा और जम्मू कश्मीर में कांग्रेस के नेता सरकारी नौकरियों की भरमार, रोजगार की भरमार लगाने समेत बिजली, पानी जैसी सुविधाओं को लेकर बड़ी बड़ी बातें कर रहे हैं। इसके अलावा महिलाओं, किसानों, बुजुर्गों, बीमार लोगों के लिए बड़ी बड़ी योजनाएं लाने की बातें कर रहे हैं। उसी कांग्रेस पार्टी की सरकार हिमाचल प्रदेश में हर दिन इन सभी वर्गों के खिलाफ़ कोई ना कोई साजिश कर रही है। पूर्व सरकार द्वारा उन्हें मिली सुविधाओं को छीन रही है। योजनाओं को बंद कर रही है या उनका बजट रोका जा रहा है। इसके साथ ही पहले से चल रहे विकास कार्यों को अटकाने भटकाने और लटकाने का काम किया जा रहा है। कांग्रेसनीत सुक्खू सरकार में 500 से ज्यादा स्कूलों को बंद कर दिया गया है। नेता प्रतिपक्ष जयराम ठाकुर ने कहा कि बेरोजगार युवकों द्वारा मुख्यमंत्री से मुलाकात के दौरान जब महिलाओं द्वारा ओवर-ऐज होने का हवाला देते हुए जल्दी से जल्दी नौकरियां निकालने मांग की गई तो उन्होंने कथित रूप से युवाओं को विवाह करने की सलाह देते हुए कहा गया कि नौकरी अपने हिसाब से आराम-आराम से ही आएगी। आप लोगो के हिसाब से नहीं। आप लोग अपना विवाह कर लीजिये। मुख्यमंत्री का यह बयान बहुत दुर्भाग्यपूर्ण और बचकाना है। क्या मुख्यमंत्री हैं भूल गए हैं कि उनकी पार्टी के हर छोटे बड़े नेता ने चौक चौराहों से चिल्ला-चिल्लाकर हर साल 1 लाख नौकरियां देने की घोषणा नहीं कर रहे थे? क्या उनके नेताओं ने प्रदेश के युवाओं से 5 साल में 5 लाख नौकरियों का वादा नहीं किया था? जब नौकरियों का वादा करके कांग्रेस ने वोट मांगे थे तो युवाओं का हक है कि वह सरकार से नौकरी मांगे और सरकार की जिम्मेदारी है कि उन्हें नौकरियां दे। उन्होंने कहा कि मुख्यमंत्री को इस तरह के रवैये से बाज आना चाहिए, इसके पहले भी उन पर दिव्यांगों द्वारा गैरजिम्मेदाराना बयान देने के आरोप लगाए जा चुके हैं।
राज्यपाल शिव प्रताप शुक्ल ने आयुर्वेद के पुरातन ज्ञान के संरक्षण पर बल देते हुए कहा कि ‘प्रकृति परीक्षण’ की अवधारणा पर गहराई के साथ शोध होना चाहिए जोकि शरीर के विभिन्न रोगों का निदान करने पर केंद्रित है। उन्होंने कहा कि विभिन्न रोगों का उपचार में इस अवधारणा को व्यापक स्तर पर प्रोत्साहित किया जाना चाहिए। राज्यपाल ने शनिवार सायं नई दिल्ली में भारतीय धरोहर के आठवें वार्षिक सम्मान समारोह में संबोधित किया। उन्होंने कहा कि भारत की समृद्ध सांस्कृतिक विरासत है और इसका संरक्षण करने की आवश्यकता है। उन्होंने कहा कि हमारे समृद्ध मूल्यों और विश्वासों ने देश को ‘मां’ का दर्जा प्रदान किया है। उन्होंने कहा कि विदेशों के बुद्धिजीवियों जैसे मैक्स मूलर ने हमारे वेदों का अध्ययन किया और उनके ज्ञान की प्रशंसा की है। इसलिए हमें न सिर्फ हमारी विरासत पर गर्व करना चाहिए बल्कि युवाओं और बच्चों को इसके बारे में जागरूक भी करना चाहिए। भारत देश संतो की भूमि है जहां लोगों को आध्यात्मिक ज्ञान प्राप्ति होती हैं। उन्होंने प्राचीन ज्ञान के संरक्षण और समाज सेवा के लिए भारतीय धरोहर की समर्पित सेवाओं की तारीफ की। राज्यपाल ने भारतीय धरोहर की वार्षिक पत्रिका का विमोचन भी किया। उन्होंने रंजीत कौर को उनके दिवंगत पति के अहम योगदान के लिए स्मृति चिन्ह और प्रशस्ति पत्र देकर सम्मानित किया। उन्होंने इस अवसर पर प्रख्यात लेखक और निर्देशक चंद्र प्रकाश द्विवेदी, शिक्षा, संस्कृति संरक्षण, जनजातीय और ग्रामीण क्षेत्रों में अहम भूमिका निभाने के लिए सामाजिक कार्यकर्ता लक्ष्मी नारायण गोयल, पूर्व संरक्षकों, भारतीय धरोहर के सदस्यों को भी सम्मानित किया, जिन्होंने संगठन के लिए उल्लेखनीय योगदान दिया। समारोह की अध्यक्षता कर रहीं राज्यसभा सांसद संगीता यादव ने भी इस अवसर पर अपने विचार प्रस्तुत किए। भारतीय धरोहर के महामंत्री विजय शंकर तिवारी ने मुख्य अतिथि का स्वागत किया और संगठन की गतिविधियों के बारे में विस्तार से अवगत करवाया। इस अवसर पर भारतीय धरोहर के अध्यक्ष रमेश कपूर और सदस्यों ने समारोह में भाग लिया।
शिमला: कई अभ्यर्थी हिमाचल प्रदेश राज्य चयन आयोग के तहत भर्तियों और पूर्व में ली गई परीक्षाओं के परिणाम का इंतजार कर रहे हैं। राज्य चयन आयोग कब तक भर्तियां शुरू करेगा इसका जवाब सरकार ने विधानसभा में दिया है। धर्मशाला से विधायक सुधीर शर्मा सरकार से सवाल पूछा था कि, हिमाचल प्रदेश राज्य चयन आयोग के अन्तर्गत भर्तियां कब तक शुरू करेगी। सरकार पिछले डेढ़ साल से 31.07.2024 तक नई भर्ती प्रणाली के अन्तर्गत लम्बित पोस्ट कोड्स के परिणाम कब तक घोषित करने का विचार रखती है। सरकार कब तक कला अध्यापक पोस्ट कोड -980 का परीक्षा परिणाम घोषित करेगी। यह सत्य है कि सरकार ने गठित अधिकारियों की कमेटी ने पोस्ट कोड -980 की परीक्षा को रद्द करने का फैसला किया है। यदि हां, तो कारण बताएं? सरकार ने अपने जवाब में कहा कि, ' हिमाचल प्रदेश राज्य चयन आयोग ने पोस्ट कोड 817 (जेओए आईटी) का परिणाम दिनांक 09-08-2024 को घोषित कर दिया था। इसके अतिरिक्त, ऑपरेशन थिएटर असिस्टेंट (OTA) के 162 पदों के लिए 30–03–2024 को (CBT) कम्प्यूटर आधारित टेस्ट लिया जा चुका है। तकनीकी शिक्षा विभाग से प्राप्त रिक्यूजिशन के अनुसार 12 पदों पर भर्ती के लिए विज्ञापन जारी किया गया था। इससे साफ होता है कि आयोग ने भर्तियों का काम शुरू कर दिया है। लंबित पोस्ट के परिणाम पर सरकार ने जवाब दिया कि 31-07-2024 तक लम्बित पोस्ट कोड्स में से 24 विभिन्न पोस्ट कोड्स का परिणाम घोषित करने के लिए हिमाचल प्रदेश राज्य चयन आयोग को निर्देश दे दिये गए थे। इनमें पोस्ट कोड 1000, 999,997,1001,1002,1004,1006 समेत अन्य शामिल हैं। कला अध्यापक पोस्ट कोड -980 के संबंध में अगली कार्रवाई मन्त्रिमंडलीय उप समिति, जोकि 20-02-2024 को गठित की गई है, की संस्तुति और सक्षम प्राधिकारी के निर्णय के अनुसार की जाएगी। सरकार ने 08-11-2023 को गठित कमेटी ने 06-12-2023 को आयोजित बैठक में यह सर्वसम्मत विचार दिया कि पोस्ट कोड -980 (कला अध्यापक - शिक्षा) के प्रश्न पत्र लीक हो गए थे। दागी प्रतिभागियों को बेदाग प्रतिभागियों से अलग करना मुश्किल है और इस तरह, चयन प्रक्रिया के परिणाम की वैधता खो गई है।
हिमाचल प्रदेश सरकार की उचित मूल्यों की दुकान यानी राशन के डिपुओं पर मिलने वाले राशन के दामों में बढ़ोतरी हो गई है। आटा-चावल के दामों में इसी महीने से बढ़ोतरी की गई है, जबकि तेल के दाम पिछले महीने से ही बढ़ा दिए गए थे। सुक्खू सरकार ने एपीएल के साथ-साथ बीपीएल कोटे के राशनकार्ड धारकों की दरों में भी बढ़ोतरी की है। वहीं, प्रदेश सरकार द्वारा डिपो के राशन में की गई इस बढ़ोतरी से मंडी की जनता खुश नजर नहीं आ रही है। मंडी शहर के उपभोक्ताओं का कहना है कि तेल के दामों में अत्यधिक बढ़ोतरी हो गई है। बाजार में भी इसी कीमत पर तेल उपलब्ध है। उपभोक्ताओं का कहना हैं कि सरकार राशन की गुणवत्ता पर ध्यान दे और निम्न वर्ग के लिए रियायतों को जारी रखे, ताकि सरकारी राशन से ऐसे परिवारों का गुजर-बसर सही ढंग से हो सके। उन्होंने कहा कि सरकार को प्रदेश के सभी लोगों के बारे में सोचना चाहिए। वहीं, खाद्य नागरिक आपूर्ति एवं उपभोक्ता मामले जिला मंडी के नियंत्रक विजय सिंह हमलाल ने बताया कि तेल की नई दरें पिछले महीने से जबकि आटा और चावल की नई दरें इस महीने से लागू कर दी गई हैं। सरसों तेल पहले 113 रूपए प्रति लीटर की दर से मिलता था, जोकि पिछले महीने से 123 रूपए प्रति लीटर कर दिया गया है। तेल के दाम एपीएल और बीपीएल के लिए एक जैसे ही हैं। इसके अलावा एपीएल कोटे में पहले आटा 9 रूपए 30 पैसे प्रति किलो की दर से मिलता था, उसमें अब 2 रूपए 70 पैसे की बढ़ोतरी करके 12 रूपए प्रति किलो की दर से दिया जा रहा है। चावल पहले 10 रूपए में मिलता था, इसमें 3 रूपयों की बढ़ोतरी करके 13 रूपयों में दिया जा रहा है। बीपीएल श्रेणी को दिए जाने वाले एकस्ट्रा राशन की दरों में भी बढ़ोतरी की गई है। निर्धारित कोटे की दरों में कोई बदवाल नहीं किया गया है, लेकिन एकस्ट्रा राशन लेने की जो लिमिट तय की गई है, उसकी दरों में इजाफा किया गया है। बीपीएल श्रेणी को आटा पहले 7 रूपए प्रति किलो की दर से मिलता था, जिसमें 2 रूपए 30 पैसे की बढ़ोतरी करके 9 रूपए 30 पैसे कर दिया गया है। इसी तरह से चावल पहले 6 रूपए 85 पैसे प्रति किलो की दर से मिलते थे, जिसमें अब 3 रूपए 15 पैसों की बढ़ोतरी करके 10 रूपए प्रति किलो की दर से दिया जा रहा है।
** मंडी में रोजाना बढ़ी 20 हजार लीटर खरीद हिमाचल प्रदेश सरकार ने मिल्क फेडरेशन के जरिए खरीदे जाने वाले दूध के दामों में बढ़ोतरी की है। इस बढ़ोतरी के बाद मंडी में पशुपालकों के चेहते खिल उठे हैं, जिससे मंडी में मिल्क फेडरेशन के द्वारा खरीदे जा रहे इस दूध में रोजाना 20 हजार लीटर की बढ़ोतरी हो गई है। बता दें कि इस साल सरकार ने दूध के दामों में 13.20 रुपये प्रति लीटर की बढ़ोतरी की है। अब गाय के दूध को 45 रुपए जबकि भैंस के दूध को 55 रुपए प्रति लीटर की दर से खरीदा जा रहा है। प्रदेशभर के स्थापित मिल्क फेडरेशन के 11 संयंत्रों पर दूध की खरीद सामान्य से अधिक हो गई है। हिमाचल प्रदेश मिल्क फेडरेशन के मार्केटिंग मैनेजर संदीप ठाकुर ने बताया, "प्रदेश में जहां रोजाना 1.40 लाख लीटर दूध खरीदा जाता था। उसका आंकडा अब 1.90 लाख लीटर रोजाना तक पहुंच गया है। इसमें प्रदेश में 50 हजार लीटर प्रति दिन की बढ़ोतरी दर्ज की गई है। मंडी जिले के चक्कर स्थित मिल्क प्लांट में पहले हर रोज 50 हजार लीटर दूध खरीदा जाता था, जिसमें 20 हजार की बढ़ोतरी होने के बाद अब यह आंकड़ा 70 हजार लीटर तक पहुंच गया है। संदीप ठाकुर ने बताया कि दूध की खरीद बढ़ने के साथ ही मिल्क फेड द्वारा बनाए जाने वाले उत्पादों में भी बढ़ोतरी हुई है। वहीं, पशुपालकों ने इसके लिए प्रदेश सरकार का आभार जताया है। पशुपालक पितांबर शर्मा, राजकुमार और दया राम ने बताया कि पहले वे अच्छे दामों के लिए दूध को मंडी शहर या फिर अन्य स्थानों पर बेचने के लिए ले जाते थे। उसके लिए इन्हें ज्यादा मेहनत करनी पड़ती थी, लेकिन जबसे प्रदेश सरकार ने दूध खरीद के दामों में बढ़ोतरी की है तभी से ही अब ये सारा दूध मिल्क फेडरेशन के सेंटर पर बेच रहे हैं। इन्होंने उम्मीद जताई है कि सरकार ने दूध के दामों में जो और बढ़ोतरी करने का वादा किया है उसे भी जल्द ही पूरा किया जाएगा। बता दें कि प्रदेश की कांग्रेस सरकार ने चुनावों से पहले अपने घोषणापत्र में वादा किया था कि उनकी सरकार के सत्ता में आने के बाद गाय का दूध 80 रुपये और भैंस का दूध 100 रुपये प्रति लीटर की दर से खरीदा जाएगा। हालांकि अभी ये आंकड़ा कही गई बात के आधे तक ही पहुंच पाया है। पशुपालकों ने उम्मीद जताई कि भविष्य में जल्द ही सरकार अपना वादा पूरा करके पशुपालकों को लाभांवित करेगी, लेकिन इतना जरूर है कि पहले के मुकाबले दामों में बढ़ोतरी हुई है और अब मिल्क फेडरेशन भी रोजाना 50 हजार लीटर अतिरिक्त दूध खरीद रहा है।
** ग्रामीणों को प्रति कनेक्शन चुकाने होंगे 100 रुपये हिमाचल में आर्थिक तंगी से उबरने के लिए सुक्खू सरकार ने लोगों का मुफ्त बिजली पानी बंद कर दिया है। ग्रामीण क्षेत्रों में पूर्व की जयराम सरकार ने लोगों को जो फ्री पानी की सुविधा दी थी। सुक्खू सरकार ने इस सुविधा को वापस ले लिया है। अब ग्रामीण क्षेत्रों में लोगों को 1 अक्टूबर से पानी के प्रति कनेक्शन 100 रुपए चुकाने होंगे। अगर किसी ने पानी के अपने नाम दो कनेक्शन लिए हैं तो ऐसे उपभोक्ताओं को हर महीने पानी 200 रुपये पानी का बिल भरना होगा। सरकार ने पानी व सीवरेज का नया दाम तय कर दिया है। अब नई दरों पर लोगों को पानी मिलेगा। वहीं, कनेक्शन, मेंटेनेंस पर भी लोगों को अब पैसा देना होगा। इस बारे में जल शक्ति विभाग ने आदेश जारी कर दिए हैं, जो 1 अक्टूबर से लागू होंगे। प्रदेश सरकार ने पानी का टैरिफ रेट निर्धारित कर दिया है। अब 0 से 20 किलोलीटर पानी खर्च करने पर 19.30 रुपए, 20 से 30 किलोलीटर पर 33.28 रुपए, 30 किलोलीटर से अधिक पर 59.90 रुपए प्रति किलोलीटर की दर निर्धारित की गई हैं। पानी के कनेक्शन पर मिनिमम मेंटेनेंस चार्ज 110 रुपए प्रति माह लगेगा। मीटर खराब होने पर तीन महीने का एवरेज बिल आएगा और 444.07 रुपए प्रतिमाह की दर से वसूली होगी। यह सभी दरें ग्रामीण क्षेत्रों के घरेलू उपभोक्ताओं पर लागू होंगी। प्रदेश में बड़े होटलों के लिए नई दरें 0 से 30 किलोलीटर पर 106.30 रुपए, 30 किलो लीटर से 75 किलोलीटर तक 141.76 रुपए, 75 किलोलीटर से ऊपर 194.85 रुपए की दर से बिल वसूला जाएगा। इसी तरह से होटलों के लिए मिनिमम मेंटेनेंस चार्ज 220 रुपए प्रति महीना तय किया गया है। वहीं, खराब मीटर पर 7779.70 रुपए के हिसाब से पैसा वसूला जाएगा। नॉन डोमेस्टिक, नॉन कमर्शियल कनेक्शन के लिए दरें शहरी व ग्रामीण क्षेत्रों में 153.07 रुपए प्रति किलोलीटर तय की गई हैं। खराब मीटर में 7072.45 रुपए की दर से हर महीने वसूली होगी। इसी तरह से सीवरेज कनेक्शन के लिए भी नई दरें तय की हैं। सीवरेज का एडिशनल कनेक्शन लेने में दोगुनी राशि वसूल की जाएगी। डोमेस्टिक के लिए यह चार्ज 500 रुपए तय किया गया है। कॉमर्शियल के लिए 1 हजार रुपए और नॉन डोमेस्टिक नॉन कमर्शियल पर 2500 रुपए लिए जाएंगे। शहरों व ग्रामीण क्षेत्रों में सीवरेज पर वाटर चार्जिज का 30 फीसदी पैसा लिया जाएगा। शहरों में कुछ संस्थानों की ओर से अपने वाटर सोर्सेज का इस्तेमाल होता है उनसे सीवरेज का प्रति शीट 25 रुपए वसूलेंगे। इसके अलावा ग्रामीण क्षेत्रों में वाटर सप्लाई में अतिरिक्त पेयजल कनेक्शन लेने के लिए घरेलू उपभोक्ताओं का रेट 200 रुपए होगा। कमर्शियल रेट 500 रुपए निर्धारित किया गया है। नॉन डोमेस्टिक नॉन कमर्शियल को यह दर 2500 रुपए तय की गई है। शहरों में डोमेस्टिक एडिशनल कनेक्शन 1 हजार रुपए में मिलेगा। कमर्शियल कनेक्शन को 1500 रुपए देने होंगे। वहीं, नॉन कमर्शियल नॉन डोमेस्टिक में 2500 रुपए रखे गए हैं। जल शक्ति विभाग ने कमर्शियल उपभोक्ताओं व संस्थाओं के लिए भी नई दरें तय की हैं। सरकारी संस्थानों, अस्पतालों, स्कूल, धर्मशाला, धार्मिक स्थलों, ढाबों, दुकानों, वॉशिंग सेंटरों, होम स्टे, प्राइवेट अस्पतालों, निजी स्कूलों, निजी कार्यालयों, रेस्तरां व अन्य सामान्य होटलों के लिए 0 से 20 किलोलीटर पानी 19.30 रुपए प्रति किलोलीटर, 20 से 30 किलोमीटर पानी पर 33.28 रुपए, 30 से 50 किलोलीटर पर 59.90 रुपए, 50 किलोलीटर से 100 किलोलीटर पर 106.30 और 100 किलोलीटर से अधिक पानी की खपत पर 150 रुपए प्रति किलोलीटर की दर तय की गई है। इनसे मिनीमम मेंटेनेंस चार्ज 110 रुपए फिक्स किए गए हैं। खराब मीटर पर 444.07 रुपए की दर से वसूली होगी। नगर निगम सोलन और पालमपुर के लिए बल्कि वाटर सप्लाई की दर 100 रुपए प्रति किलोलीटर निर्धारित की गई है। वहीं, सिंचाई योजनाओं पर 75 रुपए के हिसाब से रेट लिया जाएगा। सरकार ने शहरी निकायों व पंचायती राज संस्थाओं को कुछ इंसेंटिव भी तय किया है। उनके एरिया में वाटर चार्जिज की बेहतरीन कलेक्शन यानी यदि 75 फीसदी से 100 फीसदी तक राजस्व जुटाते हैं, तो उनको कुल कलेक्शन का 15 फीसदी पैसा दिया जाएगा। यही उनकी कलेक्शन 50 से 75 फीसदी तक रहती है, तो 10 फीसदी पैसा मिलेगा और यदि 50 फीसदी तक कलेक्शन रहती है, तो पांच फीसदी का इंसेंटिव इन संस्थाओं को दिया जाएगा। हिमाचल प्रदेश सरकार ने कुछ श्रेणियों के लिए फ्री पानी की सुविधा को जारी रखा है। इनमें विधवाओं, तलाकशुदा महिलाएं व दिव्यांगजन शामिल हैं। वहीं, जिन परिवारों की वार्षिक आय 50 हजार रुपए तक की है। उनसे मौजूदा पानी की दरों की 50 फीसदी राशि ही वसूल की जाएगी।
** विदुषी समीर कौशल के चतुर अंग शास्त्री नृत्य ने दर्शकों को किया मंत्रमुग्ध ** "YWCA कलाकारों ने शास्त्रीय नृत्य से दर्शकों को किया आकर्षित" शिमला: राजधानी के ऐतिहासिक गेयटी थियेटर में कला संगम शिमला द्वारा आयोजित "सेलेस्टियल रिदम्स" एक शास्त्रीय नृत्य संध्या का आयोजन किया गया। कार्यक्रम का शुभारंभ प्राचीन कला केंद्र के सचिव सेजल कौशल द्वारा दीप प्रज्वलित कर किया गया। YWCA के कलाकारों द्वारा दी गई प्रस्तुतियों ने दर्शकों को मंत्रमुग्ध कर दिया। कार्यक्रम में छात्रों ने रूद्र ताल, झपताल और तीन ताल की आकर्षक प्रस्तुतियां दी। कार्यक्रम के मुख्य आकर्षण में विदुषी समीर कौशल और उनके विद्यार्थियों द्वारा चतुर अंग शास्त्री नृत्य की प्रस्तुति दी गई, जिसे दर्शकों द्वारा खूब सराहा गया। गेयटी थिएटर सभागार कला प्रेमियों और दर्शकों से खचाखच भरा रहा और हर प्रस्तुति पर कलाकारों की तालियों से हौसला हफजाई की। स्थानीय कला संगम डांस एकेडमी की अध्यक्ष पूनम शर्मा का कहना है कि वह पिछले 35 वर्षों से विद्यार्थियों को शास्त्रीय नृत्य सिखा रही है। वो समय समय पर इस तरह के आयोजन करती रहती है और भविष्य में भी कला को आगे बढ़ाने के लिए निरंतर प्रयास करते रहेंगे। कार्यक्रम के अंत में संबोधित करते हुए विदुषी समीर कौशल ने कलाकारों को नृत्य की बारीकियों के गुर सिखाए। .
** कहा, हिमाचली हैं बहुत अच्छे लोग लेकिन अपनी जमीन और बेटियों की रक्षा जरूरी शिमला: सांसद कंगना रनौत ने हिमाचल में बाहर से आने वाले लोगों को लेकर सवाल किया है। उन्होंने कहा "हिमाचली अच्छे लोग होते हैं लेकिन इसका मतलब ये नहीं कि लोग अपनी जमीन की रक्षा ना करें। हमने देखा है कि भारत में बाहर से आने वाले लोगों की घुसपैठ हमेशा रही है। लोग यहां नकली नाम का प्रयोग कर दूसरे धर्म के नाम पर व्यवसाय चला रहे हैं। हिमाचल प्रदेश में बाहर से आने आने वाले लोगों का मुद्दा यहां के स्थानीय लोगों ने उठाया है। इससे प्रदेश के लोगों की सुरक्षा को खतरा है जो एक बड़ा मुद्दा है। हमने अक्सर यह देखा है कि वोट बैंक के लिए यह सब किया जाता है, जबकि सरकार निकम्मी बैठी है। कश्मीर में भी 90 के दशक में क्या हुआ था। किस तरह से डेमोग्राफी को बदला गया था। जमीन और बेटियों की अगर कोई रक्षा नहीं कर पाए तो हमने इसका परिणाम देखा हुआ है। वहीं, कंगना रनौत ने सांसद राहुल गांधी पर भी जमकर हमला बोला है। उन्होंने कहा "राहुल गांधी विदेश में जाकर भारत के खिलाफ बातें करते हैं। वह अपनी सत्ता के लिए देश के टुकड़े करने से नहीं हिचकिचाते। उनकी देश के प्रति भावना सभी को पता है। कंगना रनौत ने कहा "इमरजेंसी बहुत बड़े बजट की फिल्म है। इसको लेकर हम सभी को नुकसान हो रहा है। सेंसर बोर्ड को अब दायित्व लेकर इस फिल्म को जल्द से जल्द रिलीज करवाना चाहिए। सांसद कंगना रनौत ने कहा, मैनें जिस तरह से ये फिल्म बनाई है मुझे फिल्म इंडस्ट्री का कोई साथ नहीं मिला।
** टेस्ट करवाने के बाद लौट वापस घर हिमाचल प्रदेश के मुख्यमंत्री सुखविंदर सिंह सुक्खू की तबीयत एक बार फिर खराब हो गई है। आज सुबह स्वास्थ्य जांच के लिए सीएम सुक्खू आईजीएमसी अस्पताल शिमला पहुंचे। जहां डॉक्टरों द्वारा उनका हेल्थ चेकअप किया गया एवं जरूरी टेस्ट लिए और उसके बाद उन्हें घर भेज दिया गया। दरअसल सीएम सुखविंदर सिंह सुक्खू आज शनिवार सुबह 6 बजे आईजीएमसी अस्पताल पहुंचे। उन्हें पेट दर्द की शिकायत थी, जिसके चलते वो जांच के लिए अस्पताल आए थे। जहां सीएम का अल्ट्रासाउंड किया गया और जरूरी टेस्ट किए गए, जिसके बाद उन्हें वापिस भेज दिया गया। गौरतलब है कि पिछले साल भी मुख्यमंत्री सुखविंदर सिंह सुक्खू बीमार हो गए थे। उन्हें पेट में दर्द की शिकायत थी, जिसके बाद वो 25 अक्टूबर को शिमला के आईजीएमसी अस्पताल शिमला में एडमिट रहे थे। उसके बाद भी जब उनकी तबीयत ठीक नहीं हो पाई थी तो वो इलाज के लिए एम्स दिल्ली चले गए थे और 27 अक्टूबर से लेकर 10 नवंबर तक एम्स में एडमिट रहे थे। सीएम सुक्खू एम्स में 15 दिनों तक एडमिट रहे थे। जहां से सेहत में सुधार होने के बाद सीएम सुक्खू वापस हिमाचल प्रदेश लौट आए थे। हालांकि फिलहाल आईजीएमसी के डॉक्टरों ने बताया कि सीएम सुक्खू का स्वास्थ्य ठीक है और डॉक्टरों द्वारा इसे एक रूटीन चेकअप बताया जा रहा है।
हिमाचल प्रदेश में नशे के कारोबार पर नकेल कसने और नशा तस्करों को पकड़ने के लिए पुलिस द्वारा लगातार मुहिम चलाई जा रही है। इसी के तहत पुलिस ने एक बड़े नशा तस्कर को गिरफ्तार किया है। पुलिस ने नशा तस्करों के खिलाफ इस मुहीम में न सिर्फ आधा किलो के करीब चिट्टा बरामद किया है, बल्कि चिट्टा तस्करी गिरोह के मुख्य सरगना को धर दबोचा है। ये चिट्टे की तस्करी हिमाचल में पाकिस्तान से हो रही थी। एसपी शिमला संजीव गांधी ने बताया कि चिट्टा तस्करी के मुख्य सरगना शाही महात्मा को शुक्रवार दोपहर को पुलिस ने गिरफ्तार कर लिया है। शाही महात्मा काफी समय तक जम्मू-कश्मीर के सीमावर्ती इलाकों में रह चुका है। इस दौरान उसने सीमा पार पाकिस्तान से हो रही चिट्टा तस्करी के नेटवर्क का पता लगाया और उसमें शामिल हो गया। शाही महात्मा लंबे समय से शिमला जिले में नशा तस्करी का नेटवर्क चला रहा है। आरोपी शाही महात्मा उर्फ शशि नेगी रोहड़ू के गांव बिजौरी रंटाड़ी का रहने वाला है। गौरतलब है कि शिमला पुलिस ने कोटखाई में बुधवार रात को 468 ग्राम चिट्टे के साथ मुद्दसीर अहमद को गिरफ्तार किया था। एसपी शिमला ने बताया कि शाही महात्मा के इशारे पर ही मुद्दसीर अहमद चिट्टा रोहड़ू लेकर जा रहा था। उसी के खुलासे के बाद नशा तस्करी के सरगना को पकड़ा गया है। शिमला जिले में इससे पहले दर्ज चिट्टा तस्करी के 5 मामलों में गिरफ्तार 9 लोग भी इसके नेटवर्क का हिस्सा रहे हैं. इन सभी मामलों में शाही महात्मा की संलिप्तता सामने आने के बाद पुलिस और एंटी नारकोटिक्स टास्क फोर्स ने संयुक्त रूप से इसे पकड़ने की योजना बनाई और इसकी हर गतिविधि पर नजर रखी।
राजधानी शिमला में एक सड़क दुर्घटना में शिक्षक की मौत हो गई। ताजा मामला शिमला के चनोग पंचायत के कफलेट गांव के पास हुआ है। जहां एक कार हादसे का शिकार हो गई। इस हादसे में एक स्कूली शिक्षक की मौत हो गई, जबकि कार में सवार उनके दो बेटे गंभीर रूप से घायल हो गए हैं, जिनका अस्पताल में इलाज चल रहा है। एसपी शिमला संजीव गांधी ने बताया कि ये सड़क दुर्घटना शुक्रवार शाम 5 बजे पेश आई, जब स्कूल से छुट्टी के बाद शिक्षक अपने क्वार्टर (किराए के कमरे) के लिए जा रहे थे। इस दौरान ग्राम पंचायत चनोग के साथ लगते गांव का कफलेट के पास एक गाड़ी (नंबर HP 19-0103) हादसे का शिकार हो गई और सड़क से लगभग 100 मीटर नीचे गहरी खाई में जाकर गिरी। हादसे के दौरान कार में शिक्षक के साथ उनके दो बेटे भी सवार थे। जो कि गंभीर रूप से घायल हो गए हैं। दोनों घायलों का सायरी अस्पताल में इलाज चल रहा है। एसपी शिमला ने बताया कि मृतक शिक्षक राजकीय वरिष्ठ माध्यमिक पाठशाला चनोग में शास्त्री के पद पर तैनात थे। मृतक की पहचान पवन कुमार के तौर पर हुई है। वो सोलन जिले के अर्की के रहने वाले थे। गाड़ी पवन कुमार ही चला रहे थे, जिस समय ये दर्दनाक सड़क हादसा पेश आया। दुर्घटना के बाद सभी को अस्पताल पहुंचाया गया, लेकिन शिक्षक को जांच के बाद डॉक्टरों ने मृत घोषित कर दिया। पुलिस ने दुर्घटना में मामला दर्ज कर आगामी कार्रवाई शुरू कर दी है।
** 300 यूनिट से ज्यादा खर्च करने पर सब्सिडी बंद हिमाचल में 90 हजार करोड़ कर्ज के बोझ के नीचे दबी प्रदेश सरकार ने आर्थिक सेहत सुधारने के लिए लोगों की जेब से पैसा निकालना शुरू कर दिया है। विधानसभा चुनाव से पहले जिस कांग्रेस में लोगों को 300 यूनिट फ्री बिजली देने की गारंटी दी थी। प्रदेश की सत्ता में आने के बाद मुख्यमंत्री सुखविंदर सिंह सुक्खू के नेतृत्व में बनी उसी कांग्रेस की सरकार ने उपभोक्ताओं को महंगाई का करंट देना शुरू कर दिया है। महंगाई का ये झटका अक्टूबर से 300 यूनिट से ज्यादा बिजली खर्च करने वाले उपभोक्ताओं की जेब को लगेगा। ये इसलिए कि सुक्खू सरकार ने 300 से ज्यादा यूनिट बिजली खर्च होने पर सब्सिडी बंद करने का फैसला लिया है। इस बारे में सरकार के आदेशों के बाद हिमाचल प्रदेश राज्य बिजली बोर्ड ने विद्युत नियामक आयोग को टैरिफ बढ़ाने के लिए पत्र लिखा हैं। ऐसे में अब सरकार के फैसले के बाद घरेलू उपभोक्ताओं को 300 से ज्यादा यूनिट बिजली खर्च करने पर पहले के मुकाबले अब महंगी बिजली मिलेगी। बिजली बेचकर देश के दूसरे राज्यों को रोशन करने वाले ऊर्जा राज्य हिमाचल में ही उपभोक्ताओं को अगले महीने से बिजली महंगी मिलेगी। प्रदेश में अभी 300 यूनिट से ज्यादा बिजली खर्च करने पर उपभोक्ताओं को प्रति यूनिट 1.03 रुपये सब्सिडी की सुविधा दी जा रही है, जिससे उपभोक्ताओं को 300 यूनिट से ज्यादा बिजली की खपत करने पर 5.22 रूपये का टैरिफ लगता है, लेकिन प्रदेश सरकार की वित्तीय हालत ठीक नहीं है। ऐसे में सरकार ने अब अधिक बिजली खर्च करने पर दी जाने वाली 1.03 रुपये यूनिट सब्सिडी को खत्म करने का फैसला लिया है। इस तरह से अब 300 यूनिट से ज्यादा बिजली खर्च होने पर टैरिफ बढ़कर 6.25 रुपये हो जाएगा। यानी इस दर से अधिक बिजली खर्च करने पर घरेलू उपभोक्ताओं को बिल थमाया जाएगा। अब अगर उपभोक्ता महंगाई की मार से बचना चाहते हैं तो उन्हें बिजली की अधिक खपत पर नियंत्रण रखना होगा, ताकि हर महीने बिजली के यूनिट 300 से कम रहे। तभी उपभोक्ता महंगाई की मार से बच पाएंगे। सरकार की बिजली महंगी करने का फैसला अक्टूबर महीने से प्रभावी हो जाएगा। प्रदेश में 300 से अधिक यूनिट बिजली खर्च करने वाले घरेलू उपभोक्ताओं की संख्या 92 हजार से अधिक है।
मुख्यमंत्री ठाकुर सुखविंदर सिंह सुक्खू की अध्यक्षता में आज यहां हुई राज्य मंत्रिमंडल की बैठक में 780 मेगावाट की जंगी थोपन पोवारी जलविद्युत परियोजना को एचपी पावर कॉरपोरेशन लिमिटेड को सौंपने की मंजूरी दी गई। 1630 मेगावाट की रेणुकाजी और 270 मेगावाट की थाना प्लाउन पंप स्टोरेज जलविद्युत परियोजनाओं को हिमाचल प्रदेश पावर कॉर्पोरेशन लिमिटेड के पक्ष में आवंटित करने का भी निर्णय लिया गया। कैबिनेट ने स्वास्थ्य मंत्री कर्नल (डॉ.) धनी राम शांडिल की अध्यक्षता में एक कैबिनेट उप समिति के गठन को मंजूरी दी, जिसमें ग्रामीण विकास और पंचायती राज मंत्री अनिरुद्ध सिंह, तकनीकी शिक्षा मंत्री राजेश धर्माणी और आयुष मंत्री यदविंदर गोमा शामिल होंगे। रोगी कल्याण समितियों को मजबूत करने के लिए सिफारिशें प्रदान करना। मंत्रिमंडल ने हिमाचल प्रदेश राज्य चयन आयोग को पोस्ट कोड 903 और 939 के परिणाम घोषित करने के लिए अधिकृत किया है, जबकि जांच और अदालती कार्यवाही के अंतिम परिणाम आने तक पोस्ट कोड 903 के तहत पांच पद और पोस्ट कोड 939 के तहत छह पद खाली रखे हैं। इसने शैक्षणिक अनुसंधान को बढ़ाने और शिक्षा की गुणवत्ता में सुधार लाने के उद्देश्य से सोलन में राज्य शैक्षिक अनुसंधान और प्रशिक्षण परिषद (एससीईआरटी) को राज्य स्तर पर स्कूल और शिक्षक प्रशिक्षण के लिए शीर्ष संस्थान के रूप में पदोन्नत करने को भी मंजूरी दे दी। इसके अतिरिक्त, मंत्रिमंडल ने शिक्षकों के लिए व्यावसायिक विकास प्रदान करने के लिए 12 जिला शिक्षा और प्रशिक्षण संस्थानों (डीआईईटी) को मजबूत करने का निर्णय लिया। 'डॉ.' के लाभों को बढ़ाने का भी निर्णय लिया गया। 'यशवंत सिंह परमार ऋण योजना' विदेशी शैक्षणिक संस्थानों में व्यावसायिक और व्यावसायिक पाठ्यक्रम करने के इच्छुक पात्र मेधावी छात्रों के लिए है। इस योजना के तहत, राज्य सरकार एक प्रतिशत की ब्याज दर पर शैक्षिक ऋण प्रदान करती है। मंत्रिमंडल ने कांगड़ा जिले के सिविल अस्पताल देहरा और सिरमौर जिले के सिविल अस्पताल पांवटा साहिब में 50 बिस्तरों वाले क्रिटिकल केयर ब्लॉक की स्थापना को मंजूरी दे दी, जिससे उन्हें आधुनिक देखभाल सुविधाओं से लैस किया जाएगा। देहरा में एचपीएसईबीएल के अधीक्षण अभियंता और खंड चिकित्सा अधिकारी के कार्यालय स्थापित करने का भी निर्णय लिया गया है। वन विभाग में सहायक वन रक्षकों के 100 रिक्त पदों को भरने का निर्णय लिया गया। मुद्रण एवं लेखन सामग्री विभाग में विभिन्न श्रेणियों के 33 पद भरने को मंजूरी दी गई। इसमें लाहौल-स्पीति जिले के सिस्सू में एक नया पुलिस स्टेशन खोलने के साथ-साथ इसे कार्यात्मक बनाने के लिए विभिन्न श्रेणियों के 18 पदों के सृजन और भरने पर सहमति व्यक्त की गई। चम्बा जिले के हटली में नई खुली पुलिस चौकी के लिए विभिन्न श्रेणियों के छह पद सृजित करने और भरने का भी निर्णय लिया गया। इसके अलावा, जिला जेल मंडी में पुलिस उपाधीक्षक के दो पद, डिस्पेंसर का एक पद, सहायक निदेशक (जीव विज्ञान और सीरोलॉजी) का एक पद और गृह में प्रयोगशाला सहायक (रसायन विज्ञान और विष विज्ञान) के तीन पद भरने का भी निर्णय लिया गया। विभाग। हिमाचल प्रदेश के महाधिवक्ता कार्यालय में विभिन्न श्रेणियों के 10 पद भरने का भी निर्णय लिया गया। बैठक में शिमला जिले के शोघी और सोलन जिले के कसौली, जाबली, बरोटीवाला, नालागढ़ और बद्दी के ईएसआई स्वास्थ्य संस्थानों में चिकित्सा अधिकारी (दंत) के छह पद सृजित करने और भरने का निर्णय लिया गया। कैबिनेट ने अपनी परिचालन क्षमताओं को बढ़ाने के लिए फोरेंसिक सेवा विभाग को छह मोबाइल फोरेंसिक वैन प्रदान करने की मंजूरी दे दी।
मुख्यमंत्री ठाकुर सुखविंद्र सिंह सुक्खू ने आज यहां सूचना एवं जन सम्पर्क, उत्तर पूर्व परिषद्, के निदेशक अजय पराशर द्वारा लिखित दो पुस्तकों ‘जालंधर पीठ का रहस्य’ और ‘मुश्तरका खाता’ का विमोचन किया। मुख्यमंत्री ने इन पुस्तकों के संकलन में लेखक के प्रयासों की सराहना करते हुए कहा कि ‘जालंधर पीठ का रहस्य’ पाठकों का हिमाचल प्रदेश की विभिन्न पीठों के ऐतिहासिक एवं धार्मिक महत्त्व के बारे में ज्ञानवर्धन करेगी। ‘मुश्तरका खाता’ रोजमर्रा की जिन्दगी के विभिन्न आयामों को दर्शाती 16 लघु कहानियों का संग्रह है, जो स्थानीय संस्कृति एवं इतिहास की समझ बढ़ाने में महत्त्वपूर्ण साबित होगी। अजय पराशर ने विमोचन एवं उत्साहवर्धन के लिए मुख्यमंत्री का आभार व्यक्त किया।
**कलाकार देंगे रूद्र ताल, झपताल और तीन ताल की प्रस्तुतियां शिमला: राजधानी के ऐतिहासिक गेयटी थियेटर में कला संगम शिमला की ओर से सेलेस्टियल रिदम्स एक शास्त्रीय नृत्य संध्या का आयोजन किया जा रहा है। इस अवसर पर प्राचीन कला केंद्र के सचिव सेजल कौशल बतौर मुख्य अतिथि शिरकत करेंगे। शिमला में पत्रकारवार्ता को संबोधित करते हुए कार्यक्रम के आयोजक पूनम शर्मा ने बताया की 21 सितंबर को कार्यक्रम शाम 5:00 बजे से शुरू होगा। इसमें कला संगम डांस एकेडमी के करीब 60 से 70 विद्यार्थी भाग लेंगे। इसमें रूद्र ताल, झपताल और तीन ताल प्रस्तुत किए जाएंगे। इसके अलावा विदुषी समीर कौशल और उनके विद्यार्थियों की ओर से चतुर अंग शास्त्री नृत्य की प्रस्तुति दी जाएगी। कला संगम डांस एकेडमी की अध्यक्ष पूनम शर्मा का कहना है कि वह पिछले 35 वर्षों से विद्यार्थियों को शास्त्रीय नृत्य सिखा रही है। इस कार्यक्रम का मुख्य उद्देश्य भारत की समृद्ध सांस्कृतिक विरासत को बढ़ावा देना और कलात्मक अभिव्यक्ति के लिए एक मंच प्रदान करना है।
**संजौली में हुए लाठीचार्ज पर जताया विरोध शिमला: संजौली में स्थित कथित अवैध मस्जिद निर्माण को लेकर प्रदेशभर में विरोध प्रदर्शनों का दौर अभी भी जारी है। इसके साथ ही संजौली में प्रदर्शन के दौरान प्रदर्शनकारियों पर हुए लाठीचार्ज को लेकर हिंदू संगठनों का गुस्सा अभी शांत नहीं हुआ है। मंडी, कुल्लू, बिलासपुर के बाद जिला शिमला में उपमंडल चौपाल के नेरवा में आज हिंदू संगठनों ने जोरदार प्रदर्शन किया। नेरवा बाजार में सुबह हिंदू संगठनों के हजारों कार्यकर्ताओं ने हिंदू जागरण मंच के पूर्व प्रांत महामंत्री के नेतृत्व में विरोध रैली निकाली। इस प्रदर्शन में करणी सेना और कई हिंदू संगठन शामिल रहे। हिंदू संगठनों ने अवैध प्रवासियों की समस्या को लेकर जोरदार प्रदर्शन किया। साथ ही अवैध प्रवासियों के साथ किसी तरह का मेलजोल न रखने की बात कही। हिंदू जागरण मंच के अध्यक्ष कमल गौतम का कहना है कि, ' उनकी लड़ाई हिमाचल के अल्पसंख्यकों के साथ नहीं है। ये लोग लंबे समय से हमारे साथ रहे हैं, लेकिन प्रदेश में जगह-जगह बाहर से आए अवैध प्रवासी दिन प्रतिदिन हिमाचल के व्यापार, जमीनों पर कब्जा करते जा रहे हैं। ये आने वाले दिनों में हिमाचल के लिए खतरे की घंटी है। 11 सितंबर को संजौली में अवैध मस्जिद के खिलाफ प्रदर्शन किया गया था। इसके बाद पूरे हिमाचल में इसे लेकर प्रदर्शन हुए थे। संजौली में शांतिपूर्वक प्रदर्शन कर रहे लोगों पर पुलिस ने बिना किसी कारण के लाठियां बरसाई हैं, जिसमें 11 लोगों को चोटें आई थीं। पुलिस शांतिपूर्वक प्रदर्शन कर रहे लोगों को भी रोक रही है और जनता की आवाज को दबाना चाहती है। इसी को लेकर नेरवा में आज लोग इकट्ठे हुए हैं और सरकार के खिलाफ नारेबाजी की गई है। वहीं, हिंदू संगठनों ने मांग की है कि सरकार संजौली स्थित अवैध मस्जिदों को जल्द हटाए और बाहर से आने वाले अवैध प्रवासियों पर नजर रखे और उनका रिकॉर्ड पुलिस के पास होना चाहिए। हिंदू संगठनों ने चेतावनी दी है कि यदि सरकार समय रहते कार्रवाई नहीं करती है तो आने वाले दिनों में यह आंदोलन पूरे प्रदेश में तेजी से फैलेगा। इसके लिए सरकार जिम्मेवार होगी।
जिला शिमला के कोटखाई थाना के तहत चिट्टे की एक बड़ी खेप पकड़ी गई है। ऊपरी शिमला के खड़ापत्थर में जम्मू और कश्मीर के जिला कुपवाड़ा निवासी मुद्दासिर अहमद से 460 ग्राम चिट्टा बरामद किया गया है। सम्भवत ये हिमाचल में चिट्टे की सबसे बड़ी खेप है। पुलिस थाना कोटखाई के अनुसार मुद्दासिर अहमद नामक व्यक्ति चिट्टे की इस खेप को रोहड़ू में सप्लाई करने जा रहा था। कोटखाई पुलिस ने मामला दर्ज कर आरोपी को गिरफ्तार कर लिया है और मामले की छानबीन शुरू कर दी है। शिमला पुलिस ने अपने आधिकारिक पेज पर इस बरामदगी की सूचना साझा की है। एसपी शिमला संजीव गांधी ने मामले की पुष्टि की है। एसपी शिमला ने बताया, आज सुबह पुलिस को गुप्त सूचना मिली थी की एक व्यक्ति नशे की खेप से कहीं जा रहा है। खड़ापत्थर में सीआईडी ने जम्मू कश्मीर के गांव भातपुरा, जिला कुपवाड़ा निवासी मुद्दासिर अहमद से 460 ग्राम चिट्टा बरामद किया है। मुद्दासिर चिट्टे की इस खेप को रोहड़ू में चिट्टा माफिया को देने वाला था। कोटखाई पुलिस ने मामला दर्ज कर छानबीन शुरू कर दी है।
** हिमाचल में उपजे विवाद से करवाया अवगत ** सीएम को फोन कर घटनाओं को रोकने के केसी वेणुगोपाल ने दिए निर्देश हिमाचल प्रदेश के शिमला में मस्जिद विवाद के बाद पूरे प्रदेश में हिंदू संगठनों द्वारा किए जा रहे धरना प्रदर्शन किए जा रहे है। प्रदेश भर में मस्जिदों के बाहर नारेबाजी की जा रही है, जिससे माहौल तनावपूर्ण हो गया है। वही इसको लेकर प्रदेश कांग्रेस अल्पसंख्यक मोर्चा के अध्यक्ष इकबाल मुहमद की अगवाई में एक मुस्लिम समुदाय का प्रतिनिधि मंडल दिल्ली पहुचा, जिसमे कई मस्जिदों के इमाम भी शामिल थे । प्रतिनिधिमंडल ने कांग्रेस अल्पसंख्यक मोर्चा के राष्ट्रीय अध्यक्ष और सांसद इमरान प्रतापगढ़ी से मुलाकात की और उन्हें प्रदेश की स्थिति से अवगत करवाया ओर कहा कि हिमाचल में खास कर एक समुदाय को निशाना बनाया जा रहा है आए दिन मस्जिदों के बाहर प्रदर्शन किए जा रहे है, जिससे मुस्लिम समुदाय में डर का माहौल बनाया जा रहा है और माहौल खराब करने की कोशिश की जा रही है। वही इमरान प्रतापगढ़ी ने प्रतिनिधि मंडल को कांग्रेस महासचिव कैसी वेणुगोपाल के पास लेकर पहुचा और हिमाचल में एक समुदाय के खिलाफ हो रही घटनाओं को रोकने की अपील की। वही मौके से ही वेणु गोपाल मुख्यमंत्री सुखविंदर सिंह से फोन पर बात की और इन घटनाओं को रोकने के निर्देश दिए। केसी वेणुगोपाल ने आश्वासन दिया कि कॉंग्रेस पार्टी आपसी सौहार्द के लिए प्रतिबद्ध है और राहुल गॉंधी के मुहब्बत के नारे के साथ न्याय करने के लिए पुरज़ोर कोशिश कर रही है।
** प्राइवेट होटलों में दिया जा रहा डिस्काउंट हिमाचल प्रदेश में अब बर्फ से ढकी चोटियां पर्यटकों को आकर्षित करने लगी हैं। लाहौल-स्पीति और मनाली की ऊंची चोटियों पर बर्फबारी होने से बर्फ की सफेद चादर बिछ गई है, जिसके चलते पिछले कुछ दिनों से प्रदेश में पर्यटकों की आमद बढ़ने लगी है। जिला कुल्लू की पर्यटन नगरी मनाली में अब ऑक्यूपेंसी 30 प्रतिशत के पार पहुंच गई है। इसके अलावा अन्य राज्यों से आने वाले टूरिस्ट व्हीकल का आंकड़ा भी 500 के पार हो गया हैं। इस वीकेंड में पर्यटन कारोबारियों को ऑक्यूपेंसी बढ़ने की उम्मीद है। अन्य राज्यों से मनाली पहुंचने वाली लग्जरी बसें का आंकड़ा 35 के पार हो गया। वहीं, रोहतांग पास में भी पर्यटकों की आमद बढ़ने लगी है। बीते दिन भी लगभग 115 टूरिस्ट व्हीकल रोहतांग पहुंचे। इसके अलावा सैलानियों को कुल्लू-मनाली के निजी होटलों में 30 से 40 प्रतिशत तक डिस्काउंट दिया जा रहा है। वहीं, पर्यटन कारोबारी भी दशहरा सीजन को लेकर आकर्षक पैकेज बनाने में जुट गए हैं। मनाली के पर्यटन कारोबारी दलीय, चुनी लाल, प्रताप व प्रेम ने बताया कि बीते दिन मनाली में पर्यटकों की बाहरी राज्यों से 35 लग्जरी बसें पहुंचीं। बरसात के चलते पर्यटन कारोबार चौपट गया था। सितंबर के पहले सप्ताह में लग्जरी बसों की संख्या 10 तक रह गई थी। इससे पहले अगस्त में मनाली के होटलों में ऑक्यूपेंसी 15 प्रतिशत थी, जो कि अब 30 प्रतिशत तक पहुंच गई है। उन्होंने बताया कि इस वीकेंड पर इसमें और ज्यादा बढ़ोतरी की उम्मीद है। मनाली में अब पर्यटन कारोबारी नवरात्रि की तैयारी में जुटे है। स्नो वैली रिजॉर्ट के एमडी विम्पी बक्शी, मनाली ग्रैंड के मैनेजर हैप्पी, ग्लेशियर रिजॉर्ट के मैनेजर किशन व माहीन काटेज के मैनेजर राजू ने बताया कि कुल्लू दशहरा उत्सव के दौरान पर्यटन कारोबार में तेजी आएगी। उन्होंने बताया कि निजी होटलों में 30 से 40 प्रतिशत तक छूट दी जा रही है। होटल एसोसिएशन मनाली के उपाध्यक्ष रोशन ठाकुर ने कहा कि इस बार दशहरा सीजन बेहतर चलने की उम्मीद है। उन्होंने बताया कि मनाली के पर्यटन कारोबारी दशहरा व दिवाली सीजन की तैयारी में जुट गए हैं।
** न्यायमूर्ति राजीव शकधर की सिफारिश निरस्त शिमला: पंजाब व हरियाणा हाईकोर्ट के सीनियर मोस्ट जज न्यायमूर्ति जीएस संधवालिया अब हिमाचल प्रदेश हाईकोर्ट के मुख्य न्यायाधीश होंगे। इससे पूर्व न्यायमूर्ति राजीव शकधर को हिमाचल हाईकोर्ट का सीजे नियुक्त करने की सिफारिश की गई थी। इस सिफारिश को अब निरस्त किया गया है। अब सुप्रीम कोर्ट कॉलेजियम ने न्यायमूर्ति जीएस संधवालिया के नाम की सिफारिश की है। कॉलेजियम ने अपनी सिफारिश केंद्र सरकार को भेज दी है। उल्लेखनीय है कि न्यायमूर्ति जीएस संधवालिया को वर्ष 2011 में 30 सितंबर को पंजाब व हरियाणा हाईकोर्ट में न्यायाधीश नियुक्त किया गया था। इस समय हिमाचल हाईकोर्ट के मुख्य न्यायाधीश न्यायमूर्ति एमएस रामचंद्र राव हैं। न्यायमूर्ति एमएस रामचंद्र राव का स्थानांतरण हुआ है। उनके स्थान पर नया सीजे नियुक्त होना है। इसके लिए पहले न्यायमूर्ति राजीव शकधर के नाम की सिफारिश हुई थी। न्यायमूर्ति राजीव शकधर इसी साल 18 अक्टूबर को दिल्ली हाईकोर्ट से सेवानिवृत हो रहे हैं। सुप्रीम कोर्ट के कॉलेजियम ने इसी साल 11 जुलाई को राजीव शकधर के नाम की सिफारिश हिमाचल हाईकोर्ट के सीजे के तौर पर की थी। उस सिफारिश को अब निरस्त किया गया है। अब नई सिफारिश के अनुसार न्यायमूर्ति जीएस संधवालिया को नियुक्त करने की बात कही गई है। सुप्रीम कोर्ट कॉलेजियम ने केंद्र सरकार से ये सिफारिश की है कि न्यायमूर्ति जीएस संधवालिया को 18 अक्टूबर को न्यायमूर्ति राजीव शकधर की रिटायरमेंट के बाद हिमाचल प्रदेश हाईकोर्ट की मुख्य न्यायाधीश नियुक्त किया जाए। यहां बता दें कि हिमाचल हाईकोर्ट के मुख्य न्यायाधीश के तौर पर न्यायमूर्ति एमएस रामचन्द्र राव ने मई 2023 में कार्यभार संभाला था। पिछली सिफारिश के तहत उन्हें झारखंड के मुख्य न्यायाधीश बनाने की बात कही गई थी। तब सुप्रीम कोर्ट कॉलेजियम ने देश के सात राज्यों में हाईकोर्ट में मुख्य न्यायाधीश नियुक्त किए जाने की सिफारिश की थी।
** प्रदेशभर में खोले 19 खरीद केंद्र हिमाचल में खरीफ सीजन में तैयार हो रही धान की फसल को बेचने के लिए किसानों को परेशान नहीं होना पड़ेगा। किसानों को घर द्वार पर धान की फसल बेचने की सुविधा मिल सके, इसके लिए सरकार ने 19 खरीद केंद्र खोले हैं। इन केंद्रों में किसान अपनी सुविधा के मुताबिक धान की फसल को बेच सकते हैं। यही नहीं किसान समय पर अपनी फसल को बेच सके, इसके लिए खाद्य नागरिक आपूर्ति एवं उपभोक्ता मामले विभाग ने धान की फसल की खरीद करने के लिए बुकिंग का पोर्टल भी खोल दिया हैं। इस तरह से किसान धान की फसल बेचने के लिए ऑनलाइन रजिस्ट्रेशन करवा सकते है। धान की खरीद के लिए पोर्टल खुलने के साथ ही किसानों ने ऑनलाइन पंजीकरण करना शुरू कर दिया है। विभाग ने किसानों का पंजीकरण करने के लिए hpappp.nic.in पोर्टल का लिंक तैयार किया हैं। हिमाचल में किसानों से सरकार धान की फसल खरीदेगी। विभाग के इस पोर्टल पर धान खरीद से जुड़ी पूरी जानकारी उपलब्ध है। प्रदेश भर में स्थापित किए गए 19 केंद्रों में 10 अक्टूबर से 31 दिसंबर तक धान की खरीद की जाएगी। किसानों की आर्थिक सेहत सुधारने के लिए सरकार ने अबकी बार धान की फसल का खरीद मूल्य 2320 रुपए प्रति क्विंटल तय किया है। हिमाचल प्रदेश में धान खरीद के लिए 19 केंद्र बनाए गए है। इसमें एचपीएससीएससी चिड़गांव जिला शिमला, अनाज मंडी फतेहपुर, पांवटा साहिब धौलाकुंआ जिला सिरमौर, एपीएमसी रामपुर, मलपूर बद्दी जिला सोलन, रियाली, एचपीएससीएससी गोडाऊन कवार, एचपीएससीएससी गोडाऊन सलूणी जिला चंबा, एचपीएससीएससी गोडाऊन शिलाई, एचपीएससी एससी गोडाऊन तीसा, मार्केट यार्ड नालागढ़, एचपीएससीएससी गोडाऊन ददाहू, एचपीएससीएससी गोडाऊन हरिपुरधार जिला सिरमौर, मार्केट यार्ड टकारला, मीलवां, नगरोटा बगवां जिला कांगड़ा, रियाली, औद्योगिक क्षेत्र टाहलीवाल जिला ऊना में धान खरीद केंद्र बनाए हैं।
हिमाचल प्रदेश के जो युवा पुलिस कांस्टेबल बनने की इच्छा पाले हुए हैं, उनके लिए एक सुख की खबर है। हिमाचल प्रदेश राज्य लोकसेवा आयोग जल्द ही कांस्टेबल के करीब 1250 पदों की भर्ती विज्ञापित करने वाला है। इसके लिए प्रक्रिया लगभग पूरी हो चुकी है। इस तरह एक साल बाद इंतजार खत्म होने वाला है। सुखविंदर सिंह सुक्खू सरकार ने 14 सितंबर 2023 को 1226 पद भरने के कैबिनेट में फैसला लिया था। उसके बाद कई अड़चनों के कारण भर्ती नहीं हो सकी। बाद में पदों की संख्या भी बढ़ाई गई और आयु सीमा में भी छूट दी गई। पहले ये भर्ती पुलिस विभाग अपने स्तर पर करता था, लेकिन पूर्व की जयराम सरकार के समय हुए विवाद के बाद पुलिस मुख्यालय ने भर्ती प्रक्रिया से हाथ खींच लिया था। उसके बाद भर्ती का जिम्मा राज्य लोकसेवा आयोग को दिया गया। आयोग ने इसके लिए एक सॉफ्टवेयर तैयार करने का फैसला लिया। इसके लिए आयोग ने एनआईसी (नेशनल इन्फार्मेटिक्स सेंटर) की मदद ली है। ये सॉफ्टवेयर बनकर तैयार हो गया है। आयोग ने इस सॉफ्टवेयर को विभिन्न स्तरों पर परखा है। अब लोकसेवा आयोग इस सॉफ्टवेयर की प्रक्रिया से संतुष्ट है और जल्द ही पदों को विज्ञापित किया जाएगा। विज्ञापन के समय भर्ती संबंधी सभी शर्तों को जारी किया जाएगा। उम्मीद है कि इसी महीने के अंत में पद विज्ञापित हो जाएंगे। हिमाचल प्रदेश लोकसेवा आयोग पहली बार क्लास थ्री पदों पर भर्ती कर रहा है। पुलिस कांस्टेबल के ये पद क्लास थ्री के तहत आते हैं। आयोग के चेयरमैन कैप्टन रामेश्वर सिंह ठाकुर खुद आईपीएस रह चुके हैं। वे भारतीय सेना में कैप्टन भी रहे है। अपनी स्वच्छ छवि, भारतीय सेना की बैकग्राउंड और आईपीएस अफसर की सेवा के अनुभवों के कारण कैप्टन रामेश्वर सिंह ठाकुर फूल प्रूफ सिस्टम तैयार करने में विश्वास रखते हैं। वे तकनीकी मामलों में भी सिद्धहस्त हैं इसलिए किसी भी प्रकार के सॉफ्टवेयर की जानकारी रखते हैं। उनकी अगुवाई में आयोग पहली बार क्लास थ्री पदों की भर्ती कर रहा है। ऐसे में युवाओं में भी आयोग की भर्ती प्रक्रिया में भरोसा है। इस बार सुखविंदर सिंह सरकार ने कांस्टेबल भर्ती में महिलाओं का कोटा बढ़ाकर 30 प्रतिशत किया है। महिला कांस्टेबल के कुल 292 पद होंगे। इस बार की भर्ती में ग्राउंड टेस्ट में 100 मीटर दौड़ को भी जोड़ा गया है। आयु सीमा में एक साल की छूट दी गई है। इसके अलावा पुरुष कांस्टेबल के पदों की संख्या 870 रहेगी। चालकों सहित अन्य पद भी भरे जाने है। राज्य सरकार ने इस साल जून महीने में हुई कैबिनेट भर्ती में 1226 पदों में 30 पद और जोड़े हैं। पहले ये पद जिलावार विज्ञापित होते थे और जिलावार ही भर्ती भी होती थी, लेकिन इस बार भर्ती स्टेट वाइज होंगीं। इस भर्ती में पूर्व की तरह ही फिजिकल टेस्ट और डॉक्यूमेंट्स की जांच आदि भी पुलिस ही करेगी।
शिमला: विधानसभा मानसून सत्र के दौरान विधायक केवल सिंह पठानिया ने अतारांकित प्रश्न संख्या 996 में आयुष मंत्री से सवाल पूछा था कि अंतर्राष्ट्रीय और राष्ट्रीय स्तर पर पदक लाने वाले खिलाड़ियों को सरकार कितनी धनराशि ईनाम के तौर पर प्रदान कर रही है। खिलाड़ियों को दैनिक भत्ते के रुप में कितनी धनराशि और अन्य कौन-कौन सी सुविधाएं सरकार की ओर से प्रदान की जाती हैं। सरकार की ओर से लिखित जानकारी में बताया गया कि हिमाचल प्रदेश में खिलाड़ियों के लिए स्वर्ण जयंती खेल नीति-2021 बनाई गई है। इसके अंतर्गत राष्ट्रीय और अंतर्राष्ट्रीय खिलाड़ियों को सरकार की ओर से इनाम राशि प्रदान की जा रही है। हिमाचल प्रदेश के खिलाड़ियों को विभिन्न खेल स्पर्धाओं में भाग लेने के लिए दैनिक भत्ते एवं अन्य सुविधाएं प्रदान की जा रही हैं। खिलाड़ियों को रोजाना डाईट मनी भी दी जाती है। खेल छात्रावासों में प्रशिक्षण प्राप्त कर रहे खिलाड़ियों को डाईट राशि 250 रुपये प्रतिदिन की दर से निर्धारित की है। खिलाड़ियों को विभिन्न राष्ट्रीय स्तर की प्रतियोगिताओं में 200 किलोमीटर की दूरी की यात्रा के लिए थर्ड एसी के किराये की प्रतिपूर्ति की जाती है। 200 किलोमीटर से ज्यादा की दूरी के लिए इकॉनमी क्लास की हवाई यात्रा की सुविधा प्रदान की जा रही है। विभिन्न श्रेणी के उत्कृष्ट खिलाड़ियों को सीधी भर्ती के अर्न्तगत विभिन्न सरकारी विभागों/ बोर्डों/निगमों में 3 प्रतिशत रोजगार उपलब्ध करवाया जा रहा है। वर्ष 1999 से अब तक कुल 889 उत्कृष्ट खिलाड़ियों को उक्त योजना के अर्न्तगत रोजगार उपलब्ध करवाया गया है। खेल छात्रावासों में प्रशिक्षण प्राप्त करने वाले खिलाड़ियों को बीमा चिकित्सा सुविधा एवं खेल किट इत्यादि प्रदान की जा रही है। विभाग में खिलाड़ी कल्याण कोष की स्थापना की गई है, जिसके अर्न्तगत अर्न्तराष्ट्रीय और राष्ट्रीय स्पर्धाओं में प्रशिक्षण प्राप्त करते समय यदि किसी खिलाड़ी को चोट लगती है तो उसे 10 हजार से 25 हजार रूपये तक की आर्थिक सहायता प्रदान की जाती है।
** मौसम विभाग ने जारी किया येलो अलर्ट ** 24 सितंबर के बाद मॉनसून की विदाई की संभावना हिमाचल प्रदेश में अभी मॉनसून की बौछारों से राहत मिलने के आसार नही है। भले ही प्रदेश में सामान्य से कम बारिश दर्ज की गई है, बावजूद इसके सितंबर माह में जमकर बारिश हुई है। मौसम विज्ञान केंद्र ने 18-19 सितंबर को येलो अलर्ट जारी किया है। 20 सितंबर के बाद बारिश के इस क्रम से राहत मिलने की संभावना है, लेकिन मध्यवर्ती क्षेत्रों में 24 सितंबर तक कुछ क्षेत्रों में मौसम विज्ञान केंद्र ने बारिश की संभावना जताई है। वहीं प्रदेश से मानसून की विदाई 24 सितंबर के बाद होने की संभावना है।राजधानी में आज दिनभर बादलों की लुक्का छिप्पी जारी रही और रुक रुक कर हल्की वर्षा होती रही मौसम विज्ञान केंद्र के वैज्ञानिक संदीप शर्मा ने कहा कि गत 24 घण्टों के दौरान सोलन, सिरमौर, मंडी, बिलासपुर, शिमला व कांगड़ा में हल्की बारिश दर्ज की गई है।
** 283 करोड़ की लागत बनकर होगा तैयार जिला कुल्लू में विरोध के बावजूद भी बिजली महादेव रोपवे को वन संरक्षण अधिनियम (FCA) के तहत पहले चरण की अनुमति मिल गई है।अनुमति मिलते ही अब रोपवे बनने का रास्ता साफ हो गया है। रोपवे का निर्माण नेशनल हाईवे लॉजिस्टिक मैनेजमेंट लिमिटेड करेगी। निर्माण कंपनी को काम अवार्ड कर दिया गया है। वहीं, अब जिला कुल्लू की खराहल घाटी में स्थित बिजली महादेव मंदिर तक पहुंचने के लिए लोगों को ट्रैफिक जाम जैसी समस्याओं से दो-चार नहीं होना पड़ेगा और पर्यटक भी आसानी से यहां पहुंच पाएंगे। एफसीए के तहत परमिशन मिलने के बाद अब जल्द यहां पर रोपवे तैयार किया जाएगा. वहीं, रोपवे के बन जाने से घाटी के पर्यटन को भी पंख लगेंगे। इस रोपवे के बनने से 36 हजार पर्यटक एक दिन में बिजली महादेव के दर्शन कर सकते हैं और यहां के पर्यटन को भी इससे काफी लाभ होगा। दशकों से लटके बिजली महादेव प्रोजेक्ट को अब जल्द ही धरातल पर उतारा जाएगा। इसके लिए काम किया जा रहा है। ऐसे में कुल्लू जिले में पर्यटन को बढ़ावा देने के लिए ये एक अहम कड़ी का काम करेगा। पांच मार्च 2024 को केंद्रीय मंत्री नितिन गडकरी ने वर्चुअल हमीरपुर से रोपवे का भूमि पूजन किया गया था। रोपवे बन जाने के बाद पर्यटक बिजली महादेव का सफर आसानी से कर सकेंगे। रोपवे ब्यास नदी के किनारे नेचर पार्क मौहल के साथ बनाया जाएगा। इसकी लंबाई 2.33 किलोमीटर होगी। अभी तक बिजली महादेव के दर्शन करने के लिए 25 किलोमीटर का सफर तय करना पड़ता है। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने पहली बार बिजली महादेव का दौरा तब किया गया था, जब वह प्रदेश भाजपा के प्रभारी थे। उन्होंने चार जून 2000 को बिजली महादेव मंदिर में माथा टेका था। पांच नवंबर 2017 को वह कुल्लू आए थे। इस दौरान एक जनसभा में बिजली महादेव का जिक्र भी किया था। बिजली महादेव मंदिर के लिए रोपवे बनाने का उनका ये सपना जल्द पूरा होने वाला है। स्थानीय लोगों का तर्क है कि बिजली महादेव रोपवे के बन जाने से स्थानीय लोगों का रोजगार खत्म हो जाएगा। कुल्लू से वाया रामशिला होते हुए रास्ते में जिन लोगों की दुकानें, ढाबे, होटल, रेस्तरां आता है, उन सभी को रोजगार चौपट हो जाएगा। इसके अलावा रोपवे के लिए पेड़ों का भी कटान किया जाएगा, जिससे पर्यावरण पर प्रभाव पड़ेगा, जबकि इसका लाभ बड़ी कंपनी को मिलेगा। इसके लिए ग्रामीणों ने कई बार रोपवे के विरोध में प्रदर्शन किया है।
** न्यू शिमला पुलिस थाना भी पैदल हाल ही में हिमाचल प्रदेश विधानसभा का मानसून सेशन संपन्न हुआ है। इस बार सेशन में 480 तारांकित व 299 अतारांकित सवाल पूछे गए। वहीं, सेशन में सरकार ने कुल 25 बिल पारित किए हैं। कांगड़ा जिले की इंदौरा विधानसभा से कांग्रेस विधायक मलेंद्र राजन ने 10 सितंबर को 999 प्रश्न संख्या (क) के तहत मुख्यमंत्री सीएम सुक्खू से प्रदेश के पुलिस थानों में स्थायी वाहनों को लेकर सवाल किया। विधायक ने सीएम से डिटेल मांगी थी कि प्रदेश में ऐसे कितने पुलिस थाने हैं, जिनके पास स्थायी वाहन नहीं है। अपने एक अन्य सवाल में विधायक ने पूछा था कि क्या यह सत्य है कि पुलिस थाना इन्दौरा में स्थायी वाहन नहीं है, यदि हां तो वाहन कब तक उपलब्ध करवाया जाएगा। सीएम सुक्खू ने इन दोनों प्रश्नों का जवाब देते हुए डिटेल दी और कहा प्रदेश में कुल 23 पुलिस थाने ऐसे हैं जिनके पास स्थाई वाहन नहीं है। दूसरे सवाल के जवाब में सीएम ने कहा जी हां पुलिस थाना इन्दौरा के पास अपना स्थायी वाहन नहीं है। पुलिस थाने को वाहन उपलब्ध करवाने के लिए मामला प्रगति पर है।
उपमंडल चौपाल के अंतर्गत नेरवा के समीप नेवटी लखावटी सड़क मार्ग पर एक कार दुर्घटनाग्रस्त हो गई। कार में दो लोग सवार थे। प्रशासन से मिली जानकारी के अनुसार इस सड़क दुर्घटना में नेवटी निवासी 29 वर्षीय युवती की दुखद मृत्यु हुई है, जबकि नेवटी निवासी ही 30 वर्षीय युवक घायल है। स्थानीय लोगों और पुलिस की सहायता से घायल को सिविल अस्पताल नेरवा पहुंचाया गया,जहां से प्राथमिक उपचार के बाद आईजीएमसी शिमला रेफर किया गया है। हादसा सांय करीब 7 बजे के बाद हुआ। प्रशासन की तरफ से मृतक युवती और घायल युवक के परिजनों को फौरी सहायता प्रदान की गई है। हादसे के बाद क्षेत्र में शोक की लहर है।
शिलाई: भाषा एवं संस्कृति विभाग शिमला द्वारा ऐतिहासिक गेयटी थियेटर में 'राजभाषा हिंदी अभियान' के तहत 'राज्य स्तरीय अन्तर महाविद्यालय' समारोह का आयोजन किया गया, कार्यक्रम के अंर्तगत निबंध, कविता वाचन, भाषण और प्रश्नोत्तरी प्रतियोगिताएं करवाई गई,जिसमें प्रदेश भर के अंतर महाविद्यलयों के छात्रों ने भाग लिया। राजकीय महाविद्यालय शिलाई हिन्दी विभागाध्यक्ष आरके ठाकुर ने बताया कि रिज मैदान पर स्थित गेयटी थियेटर में आयोजित "राजभाषा हिंदी" अभियान के तहत हुए समारोह में शिलाई महाविद्यालय की छात्रा विनाक्षी ठाकुर एमए हिंदी तृतीय सेमेस्टर ने प्रश्नोत्तरी प्रतियोगिता में तीसरा स्थान हासिल कर महाविद्यालय का नाम रोशन किया है, जिस के लिए महाविद्यालय प्रबंधन ने क्षेत्र का नाम रोशन करने के लिए बधाई दी तथा सम्मानित किया। राजभाषा हिन्दी कार्यक्रम भारत सरकार द्वारा हिन्दी के प्रचार-प्रसार और सरकारी कामकाज में हिन्दी भाषा के उपयोग को बढ़ावा देने के लिए चलाया गया एक विशेष अभियान है। इस कार्यक्रम का उद्देश्य हिन्दी को देश की राजभाषा के रूप में स्थापित करना और इसे विभिन्न सरकारी, प्रशासनिक, और न्यायिक कार्यों में प्राथमिक भाषा के रूप में लागू करना है। हिन्दी को राजभाषा बनाने के लिए राजभाषा अधिनियम 1963 लागू किया गया, जिसमें यह निर्धारित किया गया कि केन्द्र सरकार के कामकाज में हिन्दी का अधिकतम उपयोग होना चाहिए।
हिमाचल प्रदेश में इस बार मानसून सामान्य से कम बरसा है, लेकिन बीते सप्ताह जमकर बादल बरसे है। 10 से 16 सितंबर के बीच सामान्य से 48 प्रतिशत ज्यादा बारिश हुई है। इस अवधि में किन्नौर जिले में नॉर्मल से 169 प्रतिशत ज्यादा बारिश हुई है और अधिक ऊंची चोटियों पर सीजन पर पहला हिमपात भी हुआ। वहीं सोलन जिले में नॉर्मल की तुलना में 160 प्रतिशत अधिक, शिमला में 139 प्रतिशत ज्यादा, बिलासपुर में 142 प्रतिशत, कांगड़ा में 52 प्रतिशत, कुल्लू में 75 प्रतिशत, मंडी में 87 प्रतिशत और सिरमौर में 66 प्रतिशत ज्यादा बारिश हुई है। पूरे मानसून सीजन में 18 प्रतिशत कम बारिश पूरे मानसून सीजन की बात करें तो इस बार सामान्य से 18 प्रतिशत कम बारिश हुई है। 1 जून से 16 सितंबर के बीच 692.1 मिलीमीटर सामान्य बारिश होती है, लेकिन इस बार 567.2 मिलीमीटर बादल बरसे हैं। आज धूप, कल बारिश मौसम विभाग की माने तो प्रदेश में आज भी बारिश के आसार नहीं है और ज्यादातर भागों में आज भी धूप खिलने का पूर्वानुमान है। बुधवार को कांगड़ा, कुल्लू, मंडी, शिमला, सोलन और सिरमौर जिले में कुछ स्थानों पर हल्की बारिश व बूंदाबांदी हो सकती है। अन्य जिलों में मौसम साफ रहेगा। परसों से यानी 19 से 22 सितंबर तक मौसम साफ रहेगा।
** नेता प्रतिपक्ष जयराम ठाकुर ने प्रधानमंत्री को दी जन्मदिन की शुभकामनाएं ** भाजपा सेवा पखवाड़ा के रूप में मनाएगी प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी का जन्मदिन नेता प्रतिपक्ष जयराम ठाकुर ने प्रेस वक्तव्य में कहा कि नरेंद्र मोदी के तीसरे कार्यकाल के सौ दिनों में देश में 15 लाख करोड़ की विभिन्न योजनाओं का लोकार्पण एवं शिलान्यास किया गया। मात्र सौ दिन में विकास की ऐसी गाथा लिखने की क्षमता सिर्फ़ दुनिया में अकेले नरेन्द्र मोदी के अंदर है। प्रधानमंत्री द्वारा भारत के विकास के लिए किए जा रहे विकासात्मक कार्य विकसित भारत के लक्ष्य को हासिल करने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाएंगे। परफॉर्मेंस और टाइमली डिलीवर करने की जो राजनीति नरेन्द्र मोदी ने शुरु की उसका परिणाम आज देश के सामने हैं। आज भारत दुनिया की सबसे तेज़ी से उभरती अर्थव्यवस्थाओं में से एक है। आज दुनिया के सभी देश भारत की तरफ़ आशा भरी नज़रों से देख रहे हैं। नरेंद्र मोदी के पिछले दो कार्य कालों की तरह तीसरा कार्यकाल भी ऐतिहासिक होगा। नरेन्द्र मोदी ने चुनाव के दौरान स्पष्ट कहा था कि तीसरा कार्यकाल भारत के निर्माण का स्वर्णकाल होगा। दो कार्यकालों में जो सुधार और नीतिगत व्यवस्थाएं की गई है उसका लाभ समूचे देश को मिल रहा है। आने वाला समय हर लिहाज़ से ऐतिहासिक होगा। अपने कहे गए एक-एक शब्द को अक्षरशः लागू करने के लिए नरेन्द्र मोदी बधाई के पात्र हैं। नेता प्रतिपक्ष ने दुनिया के सबसे लोकप्रिय नेता नरेन्द्र मोदी को जन्मदिन की शुभ कामनाएं दी। जयराम ठाकुर ने कहा कि प्रधानमंत्री के जन्मदिन को भारतीय जनता पार्टी 17 सितंबर से 2 अक्टूबर तक सेवा पखवाड़ा मनाएगी। 17 सितंबर को प्रदेश के सभी 17 संगठनात्मक जिलों में युवा मोर्चा के नेतृत्व में रक्तदान शिविर लगाए जाएंगे और प्रदेश के सभी पोलिंग बूथों पर भाजपा कार्यकर्ता स्वच्छता अभियान करेंगे और साथ ही अपने-अपने पोलिंग बूथ पर सदस्य बनाने का कार्यक्रम करेंगे।
गुजरात के गांधीनगर में केंद्रीय नवीन एवं नवीकरणीय ऊर्जा मंत्री प्रहलाद जोशी ने किया सम्मानित जल विद्युत क्षमता में सर्वश्रेष्ठ कार्य करने के लिए हिमाचल प्रदेश को वैश्विक अक्षय ऊर्जा निवेशक सम्मेलन एवं एक्सपो में समग्र जल विद्युत क्षमता में सर्वोच्च उपलब्धि हासिल करने वाले राज्य से सम्मानित किया गया। केंद्रीय नवीन एवं नवीकरणीय ऊर्जा मंत्री प्रहलाद जोशी ने आज गुजरात के गांधीनगर में आयोजित वैश्विक नवीकरणीय ऊर्जा निवेशक सम्मेलन एवं एक्सपो में हिमाचल प्रदेश को प्रमाण-पत्र प्रदान किया। राज्य सरकार की ओर से मुख्य संसदीय सचिव सुंदर सिंह ठाकुर और विधायक नीरज नैयर ने यह पुरस्कार प्राप्त किया। मुख्यमंत्री ठाकुर सुखविंद्र सिंह सुक्खू ने इस उपलब्धि पर बधाई देते कहा कि वर्तमान सरकार हिमाचल प्रदेश को 31 मार्च 2026 तक हरित ऊर्जा राज्य बनाने के लिए कारगर कदम उठा रही है और इसके लिए सरकार ने अब तक कई पहल भी की हैं। उन्होंने कहा कि जल विद्युत और नवीनीकरण ऊर्जा का दोहन करने के लिए सरकार विशेष ध्यान केंद्रित कर रही है। उन्होंने कहा कि रिकॉर्ड छह माह के भीतर पेखूबेला स्थित 32 मेगावाट के सोलर प्लांट का संचालन शुरू कर दिया गया है। वहीं, दो सौर ऊर्जा परियोजनाओं, 10 मेगावाट की कुटलैहड़ और पांच मेगावट की भांजल परियोजना को भी जल्द जनता को समर्पित किया जाएगा। उन्होंने कहा इन परियोजनाओं के शुुरू होने से जहां कार्बन उत्सर्जन में कमी आएगी, वहीं जीवाश्म ईंधनों पर निर्भरता भी कम होगी। मुख्यमंत्री ने कहा कि प्रदेश सरकार इलेक्ट्रिक वाहनों के इस्तेमाल को प्रोत्साहित कर रही है। सरकारी विभागों में इलेक्ट्रिक वाहनों के इस्तेमाल को बढ़ावा देकर डीजल वाहनों को चरणबद्ध तरीके से बाहर किया जाएगा। उन्होंने कहा कि राज्य में पर्यावरण संरक्षण के लिए सरकार हरित उद्योगों को बढ़ावा दे रही है। उन्होंने सरकार पर भरोसा जताने के लिए प्रदेश की जनता का आभार व्यक्त करते हुए कहा कि लोगों के दृढ़ सहयोग के कारण राज्य सरकार सफलतापूर्वक विभिन्न नीतियां एवं कार्यक्रम क्रियान्वित कर रही है। उन्होंने कहा कि इन प्रयासों के परिणामस्वरूप आगामी कुछ वर्षों में हिमाचल प्रदेश आत्मनिर्भर और समृद्ध राज्य के रूप में विकसित होगा।
82,500 लोगों को प्रत्यक्ष व अप्रत्यक्ष तरीके से मिलेंगे रोजगार के अवसर मुख्यमंत्री ठाकुर सुखविंद्र सिंह सुक्खू ने आज यहां बागवानी विभाग की एचपी शिवा परियोजना की समीक्षा बैठक की अध्यक्षता करते हुए कहा कि हिमाचल प्रदेश देश में बागवानी नीति लागू करने वाला पहला राज्य बनेगा। इसका उद्देश्य राज्य में बागवानी उत्पादन को बढ़ाना और प्रदेश को फल राज्य बनाना है। मुख्यमंत्री ने कहा कि 1,292 करोड़ रुपये की यह परियोजना राज्य के सात जिलों में 6 हजार हेक्टेेयर क्षेत्र को कवर करेगी। उन्होंने अंतर-फसलीय खेती पर बल देते हुए कहा कि दो चरणों में अमरूद, नींबू प्रजाति के फलों, अनार, ड्रैगन फ्रूट, जामुन तथा कटहल के पौधे रोपे जाएंगे। उन्होंने विभाग को निर्देश दिए कि परियोजना में छोटे तथा सीमांत किसानों को शामिल किया जाए ताकि उनकी आर्थिकी सुदृढ़ हो सके। उन्होंने कहा कि राज्य सरकार ग्रामीण अर्थव्यवस्था को सुदृढ़ करने को सर्वोच्च प्राथमिकता दे रही है तथा बागवानी क्षेत्र किसानों के उत्थान में महत्वपूर्ण भूमिका निभा सकता है। श्री सुक्खू ने कहा कि परियोजना के तहत वर्ष 2028 तक छह हजार हेक्टेयर भूमि में 60 लाख फलों के पौधे रोपे जाएंगे। परियोजना के तहत प्रथम चरण में चार हजार हेक्टेयर भूमि तथा दूसरे चरण में शेष दो हजार हेक्टेयर भूमि को कवर किया जाएगा। उन्होंने कहा कि इस परियोजना से वर्ष 2032 तक 1.30 लाख मीट्रिक टन उत्पादन होने की उम्मीद जताई, जिसका प्रतिवर्ष लगभग 230 करोड़ रुपये का व्यापार मूल्य होगा। उन्होंने कहा कि इस परियोजना से राज्य के 82,500 लोगों को प्रत्यक्ष व अप्रत्यक्ष तरीके से रोजगार के अवसर भी मिलेंगे। मुख्यमंत्री ने विभाग को निर्देश दिए कि इस परियोजना में सूचना प्रौद्योगिकी और आधुनिक तकनीक का इस्तेमाल किया जाए ताकि किसानों को उनकी फसलों के बेहतर दाम मिल सकें। उन्होंने कहा कि राज्य के ग्रामीण क्षेत्रों में रह रही 70 प्रतिशत आबादी विभिन्न कृषि गतिविधियों से जुड़ी हैै। उन्होंने विभाग को इस परियोजना को सफल बनाने के लिए आवश्यक तकनीकी सहायता व सहयोग प्रदान करने के निर्देश दिए। बैठक में सचिव बागवानी प्रियंका बसुु, मुख्यमंत्री के सचिव राकेश कंवर, निदेशक बागवानी विनय सिंह तथा राज्य सरकार के अन्य वरिष्ठ अधिकारी भी उपस्थित थे।
** यूनिवर्सल कार्टन के माध्यम से बागवानों ने 1 करोड़ 11 लाख 92 हजार से अधिक पेटी सेब मंडियों में भेजा यूनिवर्सल कार्टन की व्यवस्था प्रदेश में सेब बागवानी के क्षेत्र में बहुआयामी प्रयास है, जिससे बागवानों के उत्पाद की गुणवत्ता की सुरक्षा के साथ उन्हें बेहतर दाम प्राप्त करने में मदद मिल रही है। सरकार के इस कदम से बागवानों को नई दिशा व आर्थिक स्थिति में सुधार की उम्मीद जगी है। प्रदेश में बागवानों को पैकिंग समाधान की आवश्यकता और सेब की गुणवत्ता को बनाए रखने व बेहतर दामों की आवश्यकता के तहत यूनिवर्सल कार्टन की उपयोगिता कारगर साबित हो रही है। पारम्परिक कार्टन के उपयोग से फसलों को नुकसान की शंका व कीमतें गिरने की समस्या से भी निजात मिलेगी। यूनिवर्सल कार्टन से बागवानों को मानकीकृत, टिकाऊ और उच्च गुणवत्ता वाली पैकिंग सुविधा प्राप्त हुई है जिससे फसलों की सुरक्षा सुनिश्चित हुई व बाजार में प्रतिस्पर्धा बढ़ी है। इससे सेब को होने वाली क्षति से बचाया जा सकता है व गुणवत्ता बनी रहती है। इससे जहां बागवानों को सेब की कीमत तय करने का अधिकार मिला है वहीं बिचौलियों और व्यापारियों की निर्भरता से बागवान का बचाव होगा। यूनिवर्सल कार्टन के माध्यम से बागवान सीधे अपने उत्पाद की पैकिंग बेहतर रूप से करके अधिक मूल्य प्राप्त कर सकते हैं। इसके लिए विशेष मानक भी निर्धारित किए गए हैं जिसमें आकार, तहों की संख्या, वजन अथवा क्षमता आदि मानकों का पालन कर उच्च गुणवत्ता वाले कार्टनों के माध्यम से फलों की सुरक्षा सुनिश्चित की जा रही है। प्रदेश सरकार द्वारा इसे लागू करने के लिए बागवानों का समर्थन, कार्टन की उपलब्धता, प्रशिक्षण कार्यक्रमों की व्यवस्था के माध्यम से कार्टन का सही उपयोग करने के प्रति जानकारी व जागरूकता प्रदान की गई। स्थानीय स्तर पर कार्टन निर्माण इकाइयों को प्रोत्साहित कर बागवानों को कार्टन उपलब्धता सुनिश्चित करने का प्रयास किया। बागवानों की आय में वृद्धि तथा आर्थिक विकास को बढ़ावा देने के लिए यूनिवर्सल कार्टन महत्त्वपूर्ण कदम है। अन्य फसलों के लिए भी ये पहल एक आदर्श के रूप में देखा जा रही है। इस वर्ष सेब सीजन के दौरान प्रदेश में लगभग 1 करोड़ 11 लाख 92 हजार 542 यूनिवर्सल कार्टन से सेब की फसल अभी तक देश की विभिन्न मंडियों में पहुंचाई जा चुकी है। हिमाचल प्रदेश में कृषि उत्पाद विपणन समिति के अन्तर्गत मंडियों द्वारा तथा समितियों के माध्यम से स्थापित नियंत्रण कक्षों एपीएमसी में मंडियों के बाहर से जाने वाले माल के पंजीकरण के तहत अभी तक शिमला एवं किन्नौर समिति में 71 लाख 48 हजार 757, सोलन से 19 लाख 47 हजार 511, कुल्लू एवं लाहौल-स्पिति कृषि उत्पाद विपणन समिति द्वारा 13 लाख 1668 यूनिवर्सल कार्टन के माध्यम से सेब देश की मंडियों में भेजा गया। कांगड़ा विपणन समिति से 5,201, सिरमौर 1312, ऊना समिति द्वारा 918, बिलासपुर 456 तथा हमीरपुर के माध्यम से 1921 व चम्बा कृषि उत्पाद विपणन समिति द्वारा 30 पेटी यूनिवर्सल कार्टन का कारोबार भी किया गया। एचपीएमसी द्वारा भी लगभग 50 हजार यूनिवर्सल कार्टन प्रदेश की विभिन्न मंडियों में भेजे गए हैं।
कहा, बाहर से आए लोग कर रहे हिमाचल का माहौल खराब हिमाचल प्रदेश में चल रहे अवैध मस्जिद निर्माण विवाद के बीच मंडी के व्यापारियों ने बाहरी राज्यों आने वाले प्रवासियों का पंजीकरण करने की मांग उठाई है। व्यापारियों का कहना है कि हिमाचल प्रदेश में बाहरी राज्यों से बिना पंजीकरण आने वाले प्रवासियों की वजह से हिमाचल जैसे शांत प्रदेश में माहौल खराब हो रहा है। साथ यह प्रवासी बिना किसी पंजीकरण के यहां पर व्यापार कर रहे हैं, जिसका सरकार के साथ साथ स्थानीय व्यापारियों को भी घाटा हो रहा है। मंडी में मस्जिद के अवैध निर्माण को लेकर शनिवार को व्यापारियों ने सुबह 9 बजे से 11 बजे तक अपनी दुकानें बंद रखी, जिससे स्थानीय लोगों को भी दिक्कतों का सामना करना पड़ा। वहीं, व्यापार मंडल मंडी के प्रधान राजेश महेंद्रू ने बताया, "हमारे बंद को कई जगह मस्जिद विवाद के साथ जोड़ कर देखा जा रहा है, लेकिन ऐसा नहीं है। हमारा विरोध हिमाचल प्रदेश में बाहरी राज्यों से आने वाले विभिन्न वर्गों के लोगों का सही से पंजीकरण न होने पर है। उन्होंने आरोप लगाया कि बहुत से लोग बिना पंजीकरण के हिमाचल में आकर अपना व्यापार कर रहे हैं, जिससे सरकार को टैक्स में चुना लग रहा है। वहीं, स्थानीय व्यापारियों को भी नुकसान उठाना पड़ रहा है। व्यापार मंडल मंडी के प्रधान राजेश महेंद्रू ने इस मुद्दे को लेकर प्रदेश सरकार को बाहरी लोगों के पंजीकरण के लिए सिंगल विंडो सिस्टम शुरू करने का सुझाव दिया है। राजेश महेंद्रू ने कहा, "प्रदेश में बिना पंजीकरण के घूम रहे लोग माहौल खराब करने का काम कर रहे हैं, जो कि सही नहीं है। वहीं, धार्मिक मसलों के लिए उन्होंने सरकार को निश्चित समय में फैसला देने का आग्रह किया, ताकि शिमला और मंडी मसजिद विवाद होने से आम लोगों को परेशानी का सामना न करना पड़े।
देवभूमि हिमाचल प्रदेश में वर्ष भर तीज त्यौहार हर्षों-उल्लास के साथ मनाए जाते हैं। जिनका अपना विशेष महत्व है। ग्रामीण क्षेत्रों में इन त्यौहारों की अपनी विशिष्ट पहचान है। जहां ग्रामीण बड़े शौक से इन त्यौहारों के आने की तैयारियां करते हैं। इनमें सायर पर्व एक बड़े त्यौहार के रूप में मनाया जाता है। मंडी जनपद में सायर पर्व का बड़ा महत्व है। यह त्यौहार बरसात खत्म होते ही अश्विन माह की पहली तिथि को मनाया जाता है। जिसमें सबसे पहले सायर पूजन होता है। परिवार के सभी सदस्य ब्रह्ममुहूर्त में स्नान करने उपरांत सैर की पूजा करते हैं। देवताओं को नई फसलों और फल आदि का भोग लगाया जाता। इनमें धान की बाली, भुट्टा (गुल्लू), खट्टा (बड़ी नीबू), ककड़ी और अखरोट आदि की पूजा की जाती है। उसके बाद परिवार के छोटे सदस्य अपने से बड़ों को दृभ देकर आशीर्वाद लेते हैं। मंडी जनपद के ग्रामीण क्षेत्रों में बच्चे और बड़े सभी सैर की द्रुभ का खासा आनंद लेते हैं। बच्चे टोलियों में निकल कर गांव गांव जाकर द्रुभ देकर बड़ों से आशीर्वाद लेते हैं। सैर त्यौहार की पूर्व संध्या को सग्रांद पर्व मनाया जाता है। जिसमें तरह तरह के व्यंजन पकाकर ग्रामीण एक दूसरे को मेहमानबाजी की दावत देते हैं।
हिमाचल प्रदेश में अब गिफ्ट डीड लैंड पर ही सड़कों का निर्माण नहीं होगा। गिफ्ट डीड का पहले विभाग के नाम पर म्यूटेशन करवाया जाएगा। उसके बाद विभाग आगे की कार्रवाई शुरू करेगा, ताकि कोई भी लैंड होल्डर बाद में कोर्ट में मुआवजे की मांग न कर सके। इस मामले पर कैबिनेट मंत्री विक्रमादित्य सिंह ने कहा कि सालों पहले लोग गांव में सड़क निर्माण करते समय गिफ्ट डीड पर लैंड देते थे। सालों से ऐसा ही चलता आ रहा था। हमने भी उसी परंपरा का पालन किया। प्रदेश के अधिकतर गांवों में लोक निर्माण विभाग द्वारा गिफ्ट डीड के आधार पर सड़के निकाली गई हैं, लेकिन कई सालों बाद अब लोग इस गिफ्ट डीड से साफ इंन्कार करते हुए मुआवजे के लिए कोर्ट का दरवाजा खटखटा रहे है। कोर्ट के आदेशों के बाद प्रदेश सरकार को यह मुआवजा भी देना पड़ रहा है। इस मुआवजे के कारण प्रदेश सरकार की आर्थिक हालत और खराब होती जा रही हैं। प्रदेश के खजाने पर अतिरिक्त बोझ पड़ रहा है। विक्रमादित्य सिंह ने कहा कि इस तरह के मामले आने के बाद सरकार ने सीख ली है और अब गिफ्ट डीड की गई जमीन पर बिना म्यूटेशन के सड़क नहीं बनाई जाएगी। इसे लेकर लोक निर्माण विभाग के अधिकारियों को भी आदेश जारी किए गए हैं। मंडी जिला के सराज विधानसभा के जंजैहली में सराज टेलेंट एवं टूरिज्म फेस्टिवल के शुभांरभ के मौके पर विक्रमादित्य सिंह ने कहा कि सराज के जंजैहली में पर्यटन की अपार संभावनाएं हैं। इस साल लाखों पर्यटक यहां पहुंचे हैं, जिससे क्षेत्र के लोगों की आर्थिकी भी बढ़ी है। इस क्षेत्र के लिए अलग से पॉलिसी बनाई जाएगी, ताकि कुल्लू मनाली की तरह इस क्षेत्र को भी पर्यटन की दृष्टि से विकसित किया जा सके।
प्रदेशभर में हिंदू संगठनों द्वारा अवैध मस्जिद निर्माण को लेकर आवाज उठाई जा रही है। विश्व हिंदू परिषद ने आज हिमाचल बंद का ऐलान किया है। दोपहर 1:30 बजे तक सभी दुकानें बंद रखने की अपील की है। वहीं, कुल्लू जिले में भी व्यापार मंडल ने आधे दिन के लिए कुल्लू और भुंतर में बंद का आह्वान किया है। मंडी में अवैध मस्जिद को तोड़ने के लिए नगर निगम ने 30 दिन का अल्टीमेटम दिया है, जबकि सुन्नी में आज हिंदू संगठनों द्वारा प्रदर्शन किया जाएगा, जिसे देखते हुए प्रशासन ने भारी पुलिस बल तैनात कर दिया है, ताकि कानून व्यवस्था न बिगड़े।
हिमाचल की राजधानी शिमला के उपनगर संजौली में विवादित मस्जिद के अवैध निर्माण के खिलाफ उठी हिंदू संगठनों की आवाज प्रदेश भर में गूंजने लगी है। शिमला और मंडी में मस्जिद के अवैध निर्माण के खिलाफ हुए प्रदर्शन करने के बाद आज हिंदू संगठन सुन्नी में गरजेंगे, जिसको देखते हुए क्षेत्र में सुरक्षा व्यवस्था के पुख्ता प्रबंध किए गए हैं। जिले में शिमला ग्रामीण विधानसभा के तहत सुन्नी में भी काफी संख्या में मुस्लिम समुदाय के लोग रहते हैं। यहां पर भी एक मस्जिद का निर्माण किया गया है। मस्जिद के अवैध निर्माण और बाहरी राज्यों से आने वाले लोगों की भी जांच कर रहे हैं। वहीं, प्रशासन का कहना है कि प्रदर्शन को लेकर किसी ने कोई अनुमति नहीं ली है न ही इसके लिए मंजूरी दी है, लेकिन इसके बावजूद पुलिस ने एहतियात के तौर पर अतिरिक्त बल तैनात कर दिया है। एडीएम (कानून-व्यवस्था) अजीत भारद्वाज के मुताबिक प्रदर्शन के दौरान मजिस्ट्रेट तैनात रहेंगे और हर स्थिति पर नजर रखेंगे। स्थानीय लोगों के मुताबिक पिछले सालों में क्षेत्र में विशेष समुदाय और प्रवासियों की संख्या काफी अधिक बढ़ गई है। विश्व हिंदू परिषद ने शनिवार को प्रदेशभर में 2 घंटे दुकानें बंद रखने का आह्वान किया है। हिमाचल व्यापार मंडल के अध्यक्ष सुमेश शर्मा के ने कहा, "कुछ लोग समाज में माहौल खराब करने के एजेंडे पर काम कर रहे हैं। इसलिए व्यापार मंडल ने आज सुबह 9 से 11 बजे तक दुकानें बंद रखने का निर्णय लिया है। आपसी भाईचारा और शांतिपूर्ण माहौल कायम रखना हम सभी का दायित्व है। वहीं, शिमला व्यापार मंडल के उप प्रधान राजकुमार अग्रवाल ने बताया, "राजधानी के बाजार आज खुले रहेंगे। शिमला के व्यापारी पिछले गुरुवार को 3 घंटे तक दुकानें बंद रख चुके हैं। मंडी व्यापार मंडल ने आज दो घंटे तक दुकानें बंद रखने का ऐलान किया है। प्रदेश के अन्य शहरों में भी कुछ व्यापार मंडल इस बंद का समर्थन कर सकते हैं। बता दें कि शिमला के संजौली में बीते 1 सितंबर को पहली बार मस्जिद के अवैध निर्माण को गिराने के लिए प्रदर्शन किया गया था। इसके बाद 5 सितंबर को दोबारा संजौली और चौड़ा मैदान में हिंदू संगठनों का प्रदर्शन हुआ। इसी दिन शाम के वक्त शिमला के कसुम्पटी में भी स्थानीय लोगों ने मस्जिद के खिलाफ प्रदर्शन किया। बाद में 11 सितंबर को प्रदर्शन हुआ, जिसमें पुलिस और प्रदर्शनकारियों में झड़प हो गई और पुलिस ने भीड़ पर लाठीचार्ज किया।